दरौंदा विधानसभा चुनाव 2025 (Daraunda Assembly Election 2025)
बिहार की सियासत में दरौंदा विधानसभा सीट एक खास मुकाम रखती है. सिवान जिले में स्थित यह सीट हर चुनाव में राजनीतिक समीकरणों और जनभावनाओं का अद्भुत मिश्रण पेश करती है. वर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में यहां भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने जीत का परचम लहराया था, लेकिन 2025 के चुनावी रण में किसे जनता का आशीर्वाद मिलेगा, यह देखना दिलचस्प होगा.
2010 दरौंदा विधानसभा में जदयू की प्रत्याशी जगमतो देवी ने 49,115 वोटों के साथ राजद के विनोद कुमार सिंह को हराया था.
जगमतो देवी (जदयू) : 49,115 वोट
विनोद कुमार सिंह(राजद) : 17,980 वोट
2015 में जदयू की कविता सिंह ने बीजेपी के जितेंद्र स्वामी को हराया था. ये कविता सिंह के लिए एक निर्णायक जीत थी.
कविता सिंह (जदयू) : 66,255 वोट
जितेंद्र स्वामी (भाजपा) : 53,033 वोट
2020 में भाजपा की जीत, सीपीआई (एमएल) की कड़ी टक्कर(Daraunda Assembly Election)
पिछले चुनाव में भाजपा के करणजीत सिंह ने दरौंदा सीट से चुनाव लड़ा और कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (मार्क्सवादी-लेनिनवादी) लिब्रेशन के उम्मीदवार अमरनाथ यादव को 11,320 वोटों के अंतर से हराकर जीत हासिल की थी. यह मुकाबला दो विचारधाराओं के बीच सीधा संघर्ष था. एक ओर भाजपा की राष्ट्रवादी राजनीति और दूसरी ओर वामपंथी विचारधारा का प्रतिनिधित्व.
करणजीत सिंह (भाजपा ) : 71,934 वोट
अमरनाथ यादव (सीपीआई(एमएल)(एल)) : 60,614 वोट
वोटिंग प्रतिशत और जनता का मूड(Daraunda Vidhan Sabha)
2020 में दरौंदा सीट पर कुल मतदान प्रतिशत 44.09 रहा, जो दर्शाता है कि यहां मतदाता अपेक्षाकृत कम संख्या में वोट देने निकले थे. लेकिन बदलते राजनीतिक परिदृश्य और बढ़ते जन-जागरूकता अभियानों के चलते 2025 में मतदान प्रतिशत में वृद्धि की उम्मीद की जा रही है.
जातीय समीकरण और स्थानीय मुद्दे
दरौंदा सीट पर भूमिहार, यादव, कुर्मी, मुसलमान और दलित मतदाताओं की उल्लेखनीय संख्या है. यहां की राजनीति में जातीय समीकरण एक अहम भूमिका निभाते हैं. साथ ही, रोजगार, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवाएं और सड़क जैसी बुनियादी समस्याएं भी मतदाताओं के लिए अहम मुद्दे हैं.
2025 के चुनाव में क्या बदलेगा खेल?
इस बार के चुनाव में दरौंदा विधानसभा सीट पर मुकाबला और भी रोचक होने की संभावना है. भाजपा को जहां अपने कामकाज का हिसाब देना होगा, वहीं विपक्षी दलों के लिए यह सीट सत्ता पक्ष की नीतियों पर सवाल उठाने का मंच बनेगा. कौन से चेहरे चुनाव मैदान में उतरेंगे, किसका प्रचार अभियान जनता को प्रभावित करेगा, और किसे मिलेगा जनसमर्थन? इन सभी सवालों के जवाब आने वाले दिनों में सामने आएंगे.
फाइनल वोट किसके नाम होगा?
दरौंदा विधानसभा सीट पर किसका झंडा लहराएगा, इसका फैसला तो मतदाता ही करेंगे. लेकिन इतना तय है कि यह सीट एक बार फिर बिहार की राजनीति में अहम भूमिका निभाने जा रही है. हमारी टीम आपके लिए लाएगी पूरी कवरेज उम्मीदवारों की सूची, प्रमुख मुद्दे, प्रचार की हलचल और चुनाव परिणाम तक की हर बड़ी खबर.