जोहानिसबर्ग : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि भारत चौथी औद्योगिक क्रांति (डिजिटल प्रौद्योगिकी आधारित विनिर्माण) के लिये ब्रिक्स देशों के साथ काम करना चाहता है. उन्होंने इस क्षेत्र में बेहतर तरीकों और नीतियों को आपस में साझा किये जाने का भी आह्वान किया. ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिये कल यहां पहुंचे मोदी ने कहा कि प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में नवप्रवर्तन से सेवाओं की आपूर्ति बेहतर हो सकती है और उत्पादकता का स्तर बढ़ सकता है.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘भारत चौथी औद्योगिक क्रांति के क्षेत्र में ब्रिक्स देशों के साथ मिलकर काम करना चाहता है और सभी देशों को इस संदर्भ में इस क्षेत्र में बेहतर तौर तरीकों और नीतियों को साझा करने का आह्वान किया.’ उन्होंने कहा, ‘कानून के अनुपालन के साथ प्रौद्योगिकी के जरिये सामाजिक सुरक्षा तथा सरकारी योजनाओं के लाभार्थियों को सीधे भुगतान इसका एक उदाहरण है.’
प्रधानमंत्री ने कहा कि चौथी औद्योगिक क्रांति का पूंजी के मुकाबले अधिक महत्व होगा. उन्होंने कहा कि आनेवाले समय में रोजगार के लिए अधिक कौशल की जरूरत होगी, साथ ही रोजगार का स्वरूप अस्थायी होगा. इसी तरह औद्योगिक उत्पादन, डिजाइन और विनिर्माण प्रक्रिया में आमूल-चूल बदलाव होगा.’ मोदी ने स्कूलों और विश्वविद्यालयों के लिये ऐसे पाठ्यक्रम सृजित करने की जरूरत को रेखांकित किया ताकि वे युवाओं को भविष्य की जरूरतों के लिये तैयार कर सकें.
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