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बेरोक-टोक बिक रही अवैध शराब
अनदेखी . गुमटियों-ठेलों पर मिलती है शराब, नहीं हो रही विभागीय कार्रवाई शहरी क्षेत्र में अवैध शराब की बिक्री धड़ल्ले से हो रही है. एक ओर जहां लाइसेंसी शराब दुकानों में नियमों को दरकिनार कर शराब बेची जा रही है, वहीं मिलावटी शराब भी खपाया जा रहा है. राकेश सिन्हा गिरिडीह : जिले के पीरटांड़, […]
अनदेखी . गुमटियों-ठेलों पर मिलती है शराब, नहीं हो रही विभागीय कार्रवाई
शहरी क्षेत्र में अवैध शराब की बिक्री धड़ल्ले से हो रही है. एक ओर जहां लाइसेंसी शराब दुकानों में नियमों को दरकिनार कर शराब बेची जा रही है, वहीं मिलावटी शराब भी खपाया जा रहा है.
राकेश सिन्हा
गिरिडीह : जिले के पीरटांड़, निमियाघाट, बगोदर, डुमरी, खुखरा, गिरिडीह मुफस्सिल और गावां थाना क्षेत्र के सुदूर गांवों में अवैध शराब फैक्टरियां संचालित है. यहां बनी शराब को नामी-गिरामी कंपनियों के बोतल में भर कर बाजार में खपाया जा रहा है. लाइसेंसी दुकानों में भी ऐसी शराब बेची जा रही है. इस धंधे में शराब के सिंडिकेट से जुड़े कई लोग शामिल हैं. गिरिडीह सदर अस्पताल, बस स्टैंड, बड़ा चौक, भंडारीडीह, कोलडीहा, डांड़ीडीह में ठेला तथा गुमटियों में भी बेरोक-टोक शराब बेची जाती है़ गिरिडीह बस स्टैंड, पचंबा, बरवाडीह, मकतपुर, गांधी चौक के कई होटलों में भी शराब परोसी जा रही है. इसकी जानकारी पुलिस प्रशासन से लेकर उत्पाद विभाग तक को है. बावजूद कार्रवाई नहीं हो रही है़ इससे सरकारी राजस्व की भारी क्षति हो रही है.
कर्मियों की है भारी कमी : गोंड
उत्पाद अधीक्षक अजय कुमार गोंड का कहना है कि कर्मियों की भारी कमी की वजह से कार्रवाई में परेशानी हो रही है. बताया कि फिलहाल एक मात्र दारोगा कार्यरत है, वहीं दारोगा के पांच पद रिक्त हैं. सिपाही 25 की जगह मात्र एक है. जमादार के पांच, इंस्पेक्टर का एक और ड्राइवर का एक पद रिक्त है. श्री गोंड ने कहा कि थाना में फोर्स लेने के लिए घंटों इंतजार करना पड़ता है. चालू वित्तीय वर्ष में शराब के निर्धारित मूल्य से ज्यादा वसूली की एक भी शिकायत नहीं मिली है. बिक्री केंद्रों में मूल्य तालिका लगाना और रसीद देना अनिवार्य है.
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