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एक नाबालिग बनी मां, दूसरी गर्भवती

चाइल्ड वेलफेयर कमेटी के संरक्षण में रह रही दोनों किशोरी, कर्नाटक से चाइल्ड लाइन ने भेजा है दूसरी गर्भवती को बालिकागृह में रह रही एक किशोरी ने चार दिन पूर्व बच्ची को दिया जन्म, नवजात के भविष्य को ले पदाधिकारी परेशान परिजनों ने सोनपुर व नयागांव स्टेशन के बीच चलती ट्रेन से फेंका था गर्भवती […]

चाइल्ड वेलफेयर कमेटी के संरक्षण में रह रही दोनों किशोरी, कर्नाटक से चाइल्ड लाइन ने भेजा है दूसरी गर्भवती को

बालिकागृह में रह रही एक किशोरी ने चार दिन पूर्व बच्ची को दिया जन्म, नवजात के भविष्य को ले पदाधिकारी परेशान
परिजनों ने सोनपुर व नयागांव स्टेशन के बीच चलती ट्रेन से फेंका था गर्भवती एक किशोरी को
छपरा (सदर) : हवस का शिकार बनीं एक नाबालिग किशोरी कुंवारी मां बन गयी, तो दूसरी छह माह की गर्भवती है. दोनों किशोरी जिला मुख्यालय के बालिका गृह में बाल कल्याण समिति की देखरेख में रह रही हैं. दोनों के भविष्य को लेकर पुलिस-प्रशासन के अधिकारी परेशान हैं. बाल संरक्षण इकाई के पदाधिकारी दोनों नाबालिग के मामले को लेकर पसोपेश में हैं.
इन दोनों किशोरियों में एक को उसके परिजनों ने तीन माह पूर्व सोनपुर व नयागांव स्टेशन के बीच चलती ट्रेन से फेंक दिया था. चार दिन पूर्व किशोरी ने एक स्वस्थ बच्ची को जन्म दिया है. अब इस अविवाहिता की बच्ची को लेकर विभागीय अधिकारी परेशान हैं.
दूसरी किशोरी छह माह की गर्भवती है. उसे कर्नाटक से चाइल्ड लाइन ने भेजा है. वह चार बहनों के साथ अपने पिता के दोस्त के यहां कर्नाटक गयी थी. किशोरी ने सीडब्ल्यूसी अध्यक्ष को बताया कि उत्तर प्रदेश में एक मजार पर चादरपोशी के दौरान ही तांत्रिक ने एक ताबीज दी, जिससे वह गर्भवती हो गयी. कर्नाटक में विदेश में रहनेवाले उसके मृतक अब्बू के दोस्त, चारों बहनों व एक भाई के खर्च के लिए प्रतिमाह 20 हजार रुपये भेजते थे.
चार दिन पूर्व कर्नाटक से पुलिस सुरक्षा में छपरा पहुंचीं चारों बहनों से सीडब्ल्यूसी ने पूछताछ की व उन्हें बालिका गृह में रखा. मेडिकल जांच के दौरान उसमें भी एक किशोरी लगभग छह माह की गर्भवती बतायी गयी है. तीन बच्चियों को उनके अभिभावक को सौंप दिया गया. महिला थानाध्यक्ष अमिता सिंह ने कहा कि पहली किशोरी के मामले की जांच चल रही है.
वहीं, दूसरे का आवेदन भी सीडब्ल्यूसी से मिला है. एडीसीपीयू के सहायक निदेशक भास्कर प्रियदर्शी ने कहा कि जल्द ही इन किशोरियों की स्थिति एवं एक जन्मी बच्ची के संबंध में आवश्यक निर्णय लिया जायेगा. सीडब्ल्यूसी के अध्यक्ष अरुण कुमार सिंह ने कहा कि पूरे मामले में गहन छानबीन के बाद खास कर कर्नाटक से लायी गयी बच्चियों के मामले में कई चौंकानेवाले तथ्य सामने आयेंगे. वहीं, गर्भवती किशोरी के पास से आयु से संबंधित तीन-चार प्रमाणपत्र मिले हैं.

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