गोपालगंज : आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद आंगनबाड़ी केंद्र पर बच्चों के बीच सरकारी योजना के तहत पोशाक की राशि वितरण करना हमीदपुर पंचायत के मुखिया को महंगा पड़ गया. बाल विकास परियोजना पदाधिकारी ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए थाने में आदर्श आचार संहित उल्लंघन के मामले में प्राथमिकी दर्ज करायी है.
इसमें मुखिया समेत बाल विकास परियोजना विभाग के कर्मी को भी आरोपित बनाया गया है. इन अभियुक्तों के विरुद्ध पुलिस ने कार्रवाई शुरू कर दी है. हालांकि आचार संहित की प्राथमिकी दर्ज होने के बाद मुखिया फरार बताये जा रहे हैं.
पुलिस ने बताया कि गत 30 मार्च को हमीदपुर पंचायत के आंगनबाड़ी केंद्र संख्या 140 पर बच्चों के बीच पोशाक योजना की राशि बांटी जा रही थी, जिसकी तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही थी. आदर्श आचार संहित के नोडल पदाधिकारी सह अनुमंडल पदाधिकारी ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच करने का आदेश दिया था.
जांच में मामला सही पाया गया, जिसके बाद आदर्श आचार संहित उल्लंघन के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी. बैकुंठपुर थाने में कांड अंकित करने के बाद पुलिस ने गिरफ्तारी के लिए कार्रवाई शुरू कर दी है.
अब तक दो केस हुए दर्ज
वहीं विभागीय अधिकारियों ने बताया कि पोशाक योजना की राशि को लाभुक बच्चों के बैंक खाते में आरटीजीएस करना था, लेकिन ऐसा न करके नकदी राशि बांटी जाने लगी.
इस मामले में बाल विकास परियोजना पदाधिकारी की ओर से विभागीय कार्रवाई करते हुए आइसीडीएस के दोषी कर्मियों से स्पष्टीकरण किया गया है. मामले में 24 घंटे के अंदर संतोषजनक जवाब नहीं मिलने पर विभागीय कार्रवाई हो सकती है. उ
धर, बैकुंठपुर में केस दर्ज होने के बाद पूरे प्रखंड में आदर्श आचार संहित को कड़ाई से पालन करने के लिए सभी अधिकारियों को निर्देश दिया गया है. आदर्श आचार संहिता 10 मार्च को लागू हुआ. आचार संहिता लागू होने के बाद जिले में यह दूसरा मामला है.
पहला मामला थावे थाना क्षेत्र में हुआ. जीआरपी थाने की पुलिस ने सरकारी बिल्डिंग पर राजद नेताओं का बैनर-पोस्टर लगे होने के मामले में आचार संहित उल्लंघन का केस दर्ज कराया था. इसके बाद दूसरा मामला बैकुंठपुर थाने में दर्ज हुआ है. अब तक किसी भी मामले में गिरफ्तारी नहीं की गयी है. जिले में दो केस दर्ज होने के बाद सभी सीओ, बीडीओ व थानेदार को आचार संहित कड़ाई से पालन कराने को लेकर निर्देश दिया गया है.