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अस्पताल में 11 लाख का ”घोटाला”

गड़बड़झाला. आउटसोर्सिंग एजेंसी ज्ञान भारती ने अफसरों की मिलीभगत से किया गबन आरा : सदर अस्पताल में आउटसोर्सिंग मद में 10 लाख, 90 हजार, 256 रुपये के घोटाले का मामला सामने आया है़ मामले के सामने आने के बाद सिविल सर्जन डॉ एसके अमन, डीएस, डीपीएम और आउटसोर्सिंग एजेंसी ज्ञान भारती एवं शिक्षा व प्रशिक्षण […]

गड़बड़झाला. आउटसोर्सिंग एजेंसी ज्ञान भारती ने अफसरों की मिलीभगत से किया गबन
आरा : सदर अस्पताल में आउटसोर्सिंग मद में 10 लाख, 90 हजार, 256 रुपये के घोटाले का मामला सामने आया है़ मामले के सामने आने के बाद सिविल सर्जन डॉ एसके अमन, डीएस, डीपीएम और आउटसोर्सिंग एजेंसी ज्ञान भारती एवं शिक्षा व प्रशिक्षण संस्थान, जगदीश लॉक अपार्टमेंट वेस्ट बोरिंग कैनाल रोड, पटना पर गाज गिरना तय माना जा रहा है़
जिलाधिकारी डॉ बीरेंद्र प्रसाद यादव ने बताया कि सदर अस्पताल आरा के आउटसोर्सिंग का कार्य ज्ञान भारती शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान ने निविदा के माध्यम से प्राप्त किया था़ आउटसोर्सिंग एजेंसी को एकरारनामा के अनुसार सदर अस्पताल के पांच कार्य आवंटित किये गये थे़
जिसमें परिसर के बाहर साफ-सफाई, जेनरेटर का संचालन, कपड़ों की धुलाई तथा कैंटिन एवं मरीजों के भोजन आपूर्ति के कार्य सहित पांच कार्य शामिल थे़ उन्होंने कहा कि पिछले दिनों उपविकास आयुक्त इनायत खान ने निदेशक डीआरडीए राजेश कुमार, वरीय उपसमाहर्ता अरुणा कुमारी, जिला लेखा पदाधिकारी अशोक कुमार के साथ सदर अस्पताल के आउटसोर्सिंग कार्यों की विस्तृत जांच की थी़
जांच के क्रम में सिविल सर्जन और डीएस भी उपस्थित थे़ जिलाधिकारी ने कहा कि जांच के क्रम में जेनरेटर संचालन के मद में 10 लाख, 90 हजार, 256 रुपये का गलत बिल का भुगतान प्राप्त कर राशि लूट किये जाने का मामला सामने आया़ डीएम के मुताबिक इस घोटाले में आउटसोर्सिंग एजेंसी के साथ-साथ सदर अस्पताल के कर्मियों और सिविल सर्जन, डीएस एवं डीपीएम की मिलीभगत की प्रथमदृष्टया पुष्टि हुई है़ इस मामले को गंभीरता से लेते हुये जिलाधिकारी ने सिविल सर्जन, डीएस तथा डीपीएम से स्पष्टीकरण की मांग की है़
वहीं, आउटसोर्सिंग एजेंसी ज्ञान भारती से बिजली आपूर्ति एवं परिचालन में करीब 3799 घंटे का अंतर दिखाकर गबन की गयी 10,90256 लाख रुपये की वसूली एवं उक्त संस्थान को काली सूची में डालने को लेकर कार्रवाई करने का भी सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया है़
कहते हैं डीएम
जिलाधिकारी डॉ बीरेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि आउटसोर्सिंग एजेंसी ने जेनरेटर संचालन मद में गलत ढंग से करीब 11 लाख का गबन किये जाने की पुष्टि हुई है़ मानक गुणवत्ता के अनुरूप मरीजों को भोजन की आपूर्ति नहीं करने की बात भी सामने आयी है़ सिविल सर्जन, डीएस और डीपीएम से स्पष्टीकरण की मांग की गयी है़

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