नयी दिल्लीःप्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली के रामलीला मैदान में रविवार को धन्यवाद रैली को संबोधित किया. अपने संबोधन में उन्होंने विरोधियों पर जमकर हमला किया. मंच से पीएम मोदी ने नागरिकता कानून और सीएए का जिक्र किया और एक-एक करके कांग्रेस, टीएमसी और लेफ्ट पर हमला किया. आपको बता दें कि अनधिकृत कॉलोनियों को नियमित करने का रास्ता साफ किए जाने संबंधी बिल संसद में पास करने के बाद पीएम मोदी का आभार जताने के लिए यह रैली आयोजित की गई थी.
पढ़ें पीएम मोदी ने रैली में क्या-क्या कहा…
-प्रधानमंत्री ने कहा कि ये ऐसे लोग हैं जिन्हें जम्मू कश्मीर की विधानसभा में महिला और पुरुष के आधार पर बने स्थाई निवासी कानून से कोई दिक्कत नहीं थी, लेकिन यहां धार्मिक अल्पसंख्यकों का रास्ता आसान हो, इससे इन्हें दिक्कत हो रही है. आज जो पार्टियां यहां शोर मचा रही हैं, वो 2004 में कहां थीं जब वहां की सरकार ने कहा कि राज्य से बाहर के निवासी से शादी करने पर जम्मू-कश्मीर की बेटियों की वहां की नागरिकता खत्म हो जाएगी. क्या वो भेदभाव भारत के संविधान की स्पिरिट के अनुसार था. उन्होंने कहा कि सीएए का विरोध करने वालों के हाथ में जब ईंट-पत्थर देखता हूं तो मुझे होती है. लेकिन मेरी सोच अलग है. जब उनके हाथ में हिंसा के साधन देखता हूं तो मुझे तकलीफ होती है. परन्तु जब उन्हीं में से कुछ के हाथ में तिरंगा देखता हूं, तो सुकून भी होता है.
-पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर हमला करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि दीदी सीधे कोलकाता से यूएन पहुंच गईं. उनकी दिक्कत समझ नहीं आती है. चुनाव आते ही ममता दीदी क्यों डर गयी है. दीदी कल तक बंगलादेशियों के खिलाफ थीं. दीदी का विरोध पूरा देश देख रहा है.कुछ साल पहले तक यही ममता दीदी संसद में खड़े होकर गुहार लगा रहीं थीं कि बांग्लादेश से आने वाले घुसपैठियों को रोका जाए, वहां से आए पीड़ित शरणार्थियों की मदद की जाए. संसद में स्पीकर के सामने कागज फेंकती थी. दीदी, अब आपको क्या हो गया ? आप क्यों बदल गयी? अब आप क्यों अफवाह फैला रही हों ? चुनाव आते हैं, जाते हैं, सत्ता मिलती है चली जाती है, मगर आप इतना क्यों डरी हो. बंगाल की जनता पर भरोसा करो, बंगाल के नागरिकों को आपने दुश्मन क्यों मान लिया है? आपको बता दें कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक रैली में सरकार को चुनौती देते हुए कहा था कि अगर उसे नागरिकता संशोधन कानून पर इतना भरोसा है, तो वह इस पर यूएन की देखरेख में जनमत संग्रह करा ले.
-पीएम मोदी ने रैली में कहा कि रिफ्यूजी का जीवन क्या होता है, बिना कसूर के अपने घरों से निकाल देने का दर्द क्या होता है, ये दिल्ली से बेहतर कौन समझ सकता है. यहां का कोई कोना ऐसा नहीं है, जहां बंटवारे के बाद किसी ऱिफ्यूजी का और बंटवारे से अल्पसंख्यक बने भारतीय का आंसू ना गिरा हो. उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी ने कहा था कि पाकिस्तान में रहने वाले हिंदू और सिख साथियों को जब लगे कि उन्हें भारत आना चाहिए तो उनका स्वागत है. ये रियायत तब की भारत की सरकार के वादे के मुताबिक है.
-पीएम मोदी ने कहा कि कुछ लोग सीएए को गरीबों के खिलाफ ही बता रहे हैं, कह रहे हैं कि जो लोग आएंगे वो यहां के गरीबों का हक़ छीन लेंगे. अरे झूठ फ़ैलाने से पहले कम से कम गरीबों पर तो दया करो भाई. सीएए किसी की नागरिकता छीनने के लिए नहीं है. ये एक्ट उन लोगों पर लागू होगा जो बरसों से भारत में ही रह रहे हैं. किसी नए शरणार्थी को इस कानून का फायदा नहीं मिलेगा. पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश से धार्मिक प्रताड़ना की वजह से आए लोगों को सुरक्षा देने के लिए ये क़ानून है.उन्होंने कहा कि ये इसलिए किया जाता है कि उनकी आस्था, पूजा पद्धति अलग है। ऐसे शोषण के कारण ही वो भारत आए और देश के अलग अलग कौनो में रह रहे हैं. पाकिस्तान से जो शरणार्थी आए हैं उसमें से अधिकतर दलित परिवार से हैं. वहां आज भी दलितों के साथ दुर्व्यवहार होता है. वहां बेटियों के साथ अत्याचार होता है, जबरन शादी करके उन्हें धर्म परिवर्तन के लिए मजबूर किया जाता है.मैं दलित राजनीति करने का दावा करने वालों से भी पूछना चाहता हूं कि आप इतने वर्षों से चुप क्यों थे, आपको इन दलितों की तकलीफ कभी क्यों नहीं दिखाई दी. आज जब इन दलितों के जीवन की सबसे बड़ी चिंता दूर करने का काम मोदी सरकार कर रही है तो आपके पेट में चूहे क्यों दौड़ रहे हैं.
-पीएम मोदी ने कहा कि नागरिकता कानून ना हिंदू के लिए है ना ही मुस्लमानों के लिए है. कानून देश के लोगों के लिए है ही नहीं. एनआरसी कांग्रेस के वक्त बनाया गया था तब वे सोए थे क्या ? एनआरसी पर झूठ फैलाया जा रहा है. कोर्ट के फैसले के बाद एनआरसी को असम में लागू करना पड़ा.नागरिकता संशोधन कानून भारत के किसी नागरिक के लिए, चाहे वो हिंदू हो या मुसलमान, के लिए है ही नहीं. ये संसद में बोला गया है. ये कानून का इस देश के अंदर रह रहे 130 करोड़ लोगों से कोई वास्ता नहीं है.कांग्रेस और उसके साथी, शहरों में रहने वाले कुछ पढ़े लिखे नक्सली -अर्बन नक्सल, ये अफवाह फैला रहे हैं कि सारे मुसलमानों को डिटेंशन सेंटर में भेज दिया जाएगा. कुछ तो अपनी शिक्षा की कद्र करिए. एक बार पढ़ तो लीजिए नागरिकता संशोधन एक्ट है क्या?अब भी जो भ्रम में हैं, मैं उन्हें कहूंगा कि कांग्रेस और अर्बन नक्सलियों द्वारा उड़ाई गई डिटेन्शन सेंटर की अफवाह सरासर झूठ हैं. जो हिंदुस्तान की मिट्टी के मुसलमान हैं, उनसे नागरिकता कानून और एनआरसी दोनों का ही कोई लेना-देना नहीं है.
-प्रधानमंत्री ने कहा कि झूठ बेचने वाले, अफवाह फैलाने वाले इन लोगों को पहचानने की ज़रूरत है. ये 2 तरह के लोग हैं. एक वो लोग जिनकी राजनीति दशकों तक वोटबैंक पर ही टिकी रही है. दूसरे वो लोग जिनको इस राजनीति का लाभ मिला है.उन्होंने कहा कि वोट बैंक की राजनीति करने वाले और खुद को भारत का भाग्य विधाता मानने वाले, आज जब देश की जनता द्वारा नकार दिए गए हैं, तो इन्होंने अपना पुराना हथियार निकाल लिया है- बांटों, भेद करो और राजनीति का उल्लू सीधा करो.
-पीएम मोदी ने कहा कि स्कूल बसों पर हमले हुए, ट्रेनों पर हमले हुए, मोटर साइकिलों, गाड़ियों, साइकिलों, छोटी-छोटी दुकानों को जलाया गया है, भारत के ईमानदार टैक्सपेयर के पैसे से बनी सरकारी संपत्ति को खाक कर दिया गया है. इसके बाद इनके इरादे कैसे हैं, ये देश अब जान चुका है. मैं इन लोगों को कहना चाहता हूं कि मोदी को देश की जनता ने बैठाया, ये अगर आपको पसंद नहीं है, तो आप मोदी को गाली दो, विरोध करो, मोदी का पुतला जलाओ. लेकिन देश की संपत्ति मत जलाओं, गरीब की रिक्शा मत जलाओं, गरीब की झोपडी मत जलाओं. पुलिस वालों को अपनी ड्यूटी करते समय हिंसा का शिकार होना पड़ रहा है. जिन पुलिसवालों पर ये लोग पत्थर बरसा रहें हैं, उन्हें जख्मी करके आपको क्या मिलेगा? आज़ादी के बाद 33 हजार से ज्यादा पुलिसवालों ने, शांति के लिए, आपकी सुरक्षा के लिए शहादत दी है. पुलिस वालों को अपनी ड्यूटी करते समय हिंसा का शिकार होना पड़ रहा है. जिन पुलिसवालों पर ये लोग पत्थर बरसा रहें हैं, उन्हें जख्मी करके आपको क्या मिलेगा? आज़ादी के बाद 33 हजार से ज्यादा पुलिसवालों ने, शांति के लिए, आपकी सुरक्षा के लिए शहादत दी है.जब कोई संकट या मुश्किल आती है तो ये पुलिस न धर्म पूछता है न जाति पूछता है, न ठण्ड देखता है न बारिश देखता है और आपकी मदद के लिए आकर खड़ा हो जाता है. ये लोग उपदेश दे रहे हैं, लेकिन शांति के लिए एक शब्द बोलने के लिए तैयार नहीं हैं, हिंसा रोकने के लिए एक शब्द बोलने के लिए तैयार नहीं है. इसका मतलब है कि हिंसा को, पुलिस पर हो रहे हमलों को आपकी मौन सहमति है. ये देश देख रहा है.
-नागरिकता संसोधन कानून को लेकर जारी हिंसा के बीच पीएम मोदी ने कहा कि सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया जा रहा है. मोदी का पुतला जलाओ लेकिन देश की संपत्ति मत जलाओ. शरारती तत्व समझ लें कि पुलिसवाले किसी के दुश्मन नहीं. आप पुलिसवालों को मार रहे हो. जब आप मुश्किल में होते हो तो वे सबसे पहले आपकी मदद के लिए आते हैं. अगर गुस्सा है तो मोदी का पुतला जलाओ गरीबों ने आपका क्या बिगाड़ा है. ये लोग रिक्शेवाले ऑटो वाले को मार रहे हैं.
-विरोधियों पर हमला करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि सीएए बिल पर लोगों को गुमराह किया जा रहा है. कुछ दल मुस्लिमों को भ्रमित कर रहे हैं. ये लोग किस तरह अपने स्वार्थ के लिए, अपनी राजनीति के लिए किस हद तक जा रहे हैं, ये आपने पिछले हफ्ते भी देखा है. जो बयान दिए गए, झूठे वीडियो, उकसाने वाली बातें कहीं, उच्च स्तर पर बैठे लोगों ने सोशल मीडिया में डालकर भ्रम और आग फैलाने का गुनाह किया है.नागरिकता संशोधन बिल के पास होने के बाद कुछ राजनीतिक दल तरह-तरह की अफवाहें फैलाने में लगे हैं, लोगों को भ्रमित कर रहे हैं, भावनाओं को भड़का रहे हैं. मैं उनसे जानना चाहता हूं, क्या जब हमने दिल्ली की सैकड़ों कॉलोनियों को वैध करने का काम किया, तो किसी से पूछा क्या कि आपका धर्म है, आपकी आस्था क्या है, आप किस पार्टी के समर्थक हैं.हमने उज्ज्वला योजना के तहत जब 8 करोड़ से ज्यादा गरीब परिवारों को मुफ्त गैस कनेक्शन दिये, तो क्या किसी का धर्म या जाति पूछी थी? मैं कांग्रेस और उसके साथियों से जानना चाहता हूं कि आप क्यों देश की जनता से झूठ बोल रहे हो, क्यों उन्हें भड़का रहे हो.
-पीएम मोदी ने कहा कि आज दिल्ली में जो राज्य सरकार है, वो यहां की सबसे बड़ी समस्या से आंख मूंद कर बैठी है. ये समस्या है पीने के पानी की. इन लोगों के अनुसार पूरी दिल्ली में हर जगह बिसलरी जैसा साफ पानी मिलता है.
-प्रधानमंत्री ने कहा किदिल्ली के भीतर सड़कों पर ध्यान देने के साथ ही, दिल्ली के चारों ओर पेरिफरल एक्सप्रेस वे का निर्माण किया गया है, ये एक्सप्रेस वे भी बरसो से अटका, भटका, लटका पड़ा था, इसे पूरा करने का काम भी हमारी सरकार ने किया है. उन्होंने कहा कि शहर में प्रदूषण कम हो, इसके लिए भी हमने निरंतर प्रयास किया है. बीते 5 वर्षों में दिल्ली में सैकड़ों नए सीएनजी स्टेशन बनाए गए हैं. यहां जो उद्योग-धंधे चल रहे हैं, उनमें से आधों को PNG आधारित बनाया जा चुका है.
-पीएम मोदी ने कहा कि हमने एक तरफ वीआईपी लोगों से दिल्ली के 2000 से ज्यादा बंगले खाली कराए हैं और 40 लाख से ज्यादा गरीबों और मध्यम वर्ग को उनके घर का हक भी दे दिया है. उनके वीआईपी उनको मुबारक, मेरे वीआईपी तो आप लोग हैं, देश का सामान्य मानवी है. दिल्ली मेट्रो के फेज-4 को लेकर अगर यहां की राज्य सरकार ने बेवजह के अड़ेंगे न लगाए होते, तो इसका काम भी काफी पहले शुरू हो गया होता. इसलिए मैं कहता हूं कि आप के नाम पर राजनीति करने वाले, आपकी तकलीफों को कभी न समझे हैं और न समझने का इरादा है.
-प्रधानमंत्री ने कहा कि आप सोचिये जिन लोगों पर आप लोगों ने अपने घरों को नियमित कराने के लिए भरोसा किया था, वो खुद क्या कर रहे थे? इन लोगों ने दिल्ली के सबसे आलीशान और सबसे महंगे इलाकों में 2 हजार से ज्यादा बंगले, अवैध तरीके से अपने करीबियों को दे रखे थे. इतने कम समय में टेक्नोलॉजी की मदद से दिल्ली की 1700 से ज्यादा कॉलोनियों की बाउंड्री को चिह्नित करने का काम पूरा किया जा चुका है. इतना ही नहीं 1200 से ज्यादा कॉलोनियों के नक्शे भी पोर्टल पर डाले जा चुके हैं.
-विरोधियों पर हमला करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि समस्याओं को लटकाए रखना कुछ लोगों की आदत है. बंगले में रहने वालों को उन्होंने खुली छूट दी. अमीरों को छूट मिली और गरीबों का उन्होंने हक मारा. हमने आपको आपका हक दिया. पहले जो सरकार चला रहे थे उन्होंने इन बंगलों में रहने वालों को तो पूरी छूट दी, लेकिन आपके घरों को नियमित करने के लिए कुछ किया भी नहीं और जब मैं कर रहा था तो रोड अटकाने का कोई मौका भी नहीं छोड़ा. उन्होंने कहा कि विपक्ष के लोगों की इस रफ्तार को देखते हुए हमने कहा कि ऐसा नहीं चलेगा और न मैं चलने दूंगा. इसलिए हमने इस साल मार्च में ये काम अपने हाथ में लिया. लोकसभा और राज्यसभा के बीते सत्र में दिल्ली की कॉलोनियों से जुड़ा बिल पास कराया जा चुका है.
-पीएम मोदी ने कहा कि मुझे संतोष है कि दिल्ली के 40 लाख से ज्यादा लोगों के जीवन में नया सवेरा लाने का एक उत्तम अवसर मुझे और भाजपा को मिला है. आपको अपने घर आपनी जमीन, अपने जीवन की सबसे बड़ी पूंजी पर संपूर्ण अधिकार मिला, इसके लिए आप सबको बहुत-बहुत बधाई…चुनाव आते थे तो तारीखें आगे बढाई जाती थी, बुलडोजर का पहियां कुछ समय के लिए रुक जाता था, लेकिन समस्या वहीं की वहीं रहती थी. आपको इस चिंता से मुक्त करने और इस समस्या के स्थायी समाधान की ईमानदारी और नीयत इन लोगों ने कभी नहीं दिखाई.
-प्रधानमंत्री ने कहा कि 40 लाख से ज्यादा लोगों के जीवन में नया सवेरा आया. इसके लिए आपको बधाई. दिल्ली की बड़ी आबादी डर-डर के जी रही थी. अवैध कॉलोनियों को लेकर केवल राजनीति हुई. अवैध कॉलोनियों के विकास में रोड़े अटकाए गये. प्रधानमंत्री उदय योजना से लोगों को घर का संपूर्ण अधिकार मिला.जीवन से जब अनिश्चितता निकल जाती है, एक बड़ी चिंता हट जाती है तो उसका प्रभाव क्या होता है, ये मैं आज आप सभी के चेहरों पर देख रहा हूं. आपके उत्साह में देख रहा हूं.