बोआरीजोर प्रखंड के लीलातरी वन पंचायत के हरकट्टा गांव में वीर शहीद सिदो-कान्हू के जन्म दिवस पर आदिवासी रीति-रिवाज से मेला का आयोजन किया गया. इसका उद्घाटन मुखिया ललिता किस्कू एवं मुखिया प्रतिनिधि सोना लाल टुडू ने फीता काटकर किया. इस दौरान सिदो-कान्हू की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया. इस दौरान मुखिया ने संबोधित करते हुए कहा कि आदिवासी की पहचान अपने धर्म, संस्कृति एवं वेशभूषा से होती है. अपनी पहचान कभी किसी को नहीं भूलना चाहिए. आदिवासी समाज के महान क्रांतिकारी वीर शहीद सिदो-कान्हू की जीवनी से सीख लेने की जरूरत है. उनका जीवन अत्यंत सादगी था. उन्होंने हमेशा दलित व गरीबों को मदद किया है. अंग्रेजों के विरुद्ध उन्होंने अकेले जमकर लड़ा था. अपने वीरता से अंग्रेजों को नतमस्तक कर दिया था. आज के युवाओं को अपने जीवन को सफल बनाने के लिए उनके आदर्श पर चलना चाहिए. मेले में आदिवासी नृत्य एवं लांगड़े नाच का भी आयोजन किया गया. मेला में आसपास गांव के सैकड़ो ग्रामीणों ने पहुंच कर मेला का आनंद लिया. मौके पर ग्राम प्रधान धनय किस्कू, लखीराम मरांडी, मसीचंद किस्कू, मनोज टुडू, बेटाराम मुर्मू, प्रेमलाल सोरेन आदि उपस्थित थे.
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