लघु सिंचाई विभाग ने पिछले वर्ष इसका जीर्णोद्धार लघु सिंचाई करवाया था. ग्रामीणों का कहना है कि जीर्णोद्धार कार्य में अनियमितता के कारण ही लगातार हो रही बारिश का दबाव मेढ़ नहीं सह सकी और क्षतिग्रस्त हो गयी. मुखिया यशोदा देवी, पंसस पवन अग्रवाल, सुधांशु अग्रवाल, जेएलकेएम के यमुना मंडल आदि ने कहा कि तालाब की मेढ़ टूटी तो सैकड़ों किसानों की फसल पूरी तरह बर्बाद होने की आशंका है.
जेई ने गांव पहुंचकर लिया जायजा
पंचायत प्रतिनिधि व ग्रामीणों की सूचना पर गुरुवार की दोपहर लघु सिंचाई विभाग के जेई दिनेश कुमार वहां पहुंचे और वस्तुस्थिति से अवगत हुये. हालांकि, उन्हें स्थानीय ग्रामीणों के आक्रोश का सामना करना पड़ा. ग्रामीण तालाब में आउटलेट निर्माण नहीं किये जाने की शिकायत की. जेई ने कहा कि शिकायत के आलोक में स्थल की जांच की गयी है. तालाब की क्षतिग्रस्त मेढ़ की मरम्मत शुरू कर दी गयी है. यहां आउटलेट का भी निर्माण किया जायेगा. मौके पर राजकुमार तुरी, शुभम गुप्ता, महाराज मंडल, सुरेंद्र यादव, सागर राम सहित काफी संख्या में ग्रामीण उपस्थित थे.
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