सात की उम्र में पांच बच्चों को दिया जन्म!
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अवैध जन्म प्रमाण पत्र बनाने का हुआ खुलासा , बाजपट्टी प्रखंड का है मामला
सात की उम्र में पांच बच्चों को दिया जन्म! अवैध प्रमाण पत्र पर एक ही परिवार के छह सदस्य बन गये शिक्षक सीतामढ़ी : प्रखंड व पंचायत स्तर पर शिक्षक नियोजन में गड़बड़ी की हद पार कर दी गयी थी. जांच में नियोजन करने वालों के नये-नये कारनामे सामने आ रहे हैं. वे लोग भी […]
अवैध प्रमाण पत्र पर एक ही परिवार के छह सदस्य बन गये शिक्षक
सीतामढ़ी : प्रखंड व पंचायत स्तर पर शिक्षक नियोजन में गड़बड़ी की हद पार कर दी गयी थी. जांच में नियोजन करने वालों के नये-नये कारनामे सामने आ रहे हैं. वे लोग भी धीरे-धीरे बेनकाब हो रहे हैं जो शिक्षक बनने के लिए कौन-कौन से गलत हथकंडे अपनाये थे.
अब तक कई पर प्राथमिकी
शिक्षक नियोजन में गड़बड़ी को लेकर अब तक दर्जनों शिक्षक व अन्य के खिलाफ थानों में प्राथमिकी दर्ज करायी जा चुकी है तो कई के खिलाफ प्राथमिकी की तैयारी चल रही है. इस बीच, निगरानी विभाग की जांच में बाजपट्टी प्रखंड का एक गंभीर व रोचक मामला सामने आया है. पहला यह कि एक हीं परिवार के छह सदस्य विभिन्न स्कूलों में शिक्षक बन गये.
वह भी अवैध जन्म प्रमाण पत्र के आधार पर. इस फर्जीवाड़ा को करने में जल्दीबाजी की गयी, जिसके चलते यह सवाल उठ गया है कि कोई मां सात वर्ष की उम्र में पांच बच्चों को कैसे जन्म दे सकती है. मामले की जांच कर रहे निगरानी विभाग के इंस्पेक्टर विनयानंद पाठक भी सकते में है. बताया कि परिवार के सभी सदस्यों सह उक्त शिक्षक व शिक्षिकाओं के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराने की तैयारी तेज कर दी गयी है. .
बीइओ नहीं सौंप रहे प्रमाण पत्र
बताया गया है कि इंस्पेक्टर श्री पाठक ने जांच के क्रम में पाया कि बाजपट्टी प्रखंड के कई नियोजित शिक्षकों के फोल्डर में शैक्षणिक व प्रशैक्षणिक प्रमाण पत्र नहीं है. फलत: संबंधित शिक्षकों के नियोजन की जांच प्रभावित है. श्री पाठक ने आठ मार्च को बाजपट्टी बीइओ को पत्र भेज संबंधित शिक्षकों का प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने को कहा था. अब तक उपलब्ध नहीं कराया जा सका है. उनका मानना है कि शिक्षकों के अवैध नियोजन में बीइओ व नियोजन इकाइयों की संलिप्तता होगी. इसी कारण शैक्षणिक प्रमाण पत्रों को उपलब्ध नहीं कराया जा रहा है.
बताया कि जांच अंतिम चरण में है. संबंधित शिक्षकों के अलावा बीइओ व नियोजन इकाइयों के खिलाफ भी प्राथमिकी दर्ज करायी जायेगी.
पांच वर्ष की उम्र में पहला बच्चा
इंस्पेक्टर श्री पाठक ने बताया कि बाजपट्टी प्रखंड के मो शफीक, उनकी पत्नी व उनके चार बच्चे विभिन्न स्कूलों में शिक्षक के पद पर कार्यरत हैं. मवि संडवारा में कार्यरत मो शफीक की जन्मतिथि 13 फरवरी 1969 तो उनकी पत्नी शाहीना प्रवीण की जन्मतिथि एक फरवरी 1982 है. वह प्राथमिक विद्यालय मधुरापुर उर्दू में शिक्षिका है. शाहीना ने अपने प्रथम पुत्र जमील अख्तर को 10 फरवरी 87 को जन्म दी थी. इस तरह से मां व बेटे के उम्र के बीच मात्र पांच वर्ष का फासला है. जमील अख्तर प्राथमिक विद्यालय कचहरीपुर में शिक्षक हैं.
पुत्री ताहेरा खातून की जन्मतिथि 20 जनवरी 1988 है. वह अपनी मां से मात्र छह साल छोटी है. ताहेरा प्राथमिक विद्यालय बसरी में शिक्षिका है. मो शफीक के पुत्र मो कालीन अख्तर व पुत्री जेहरा खातून की जन्मतिथि एक ही है. यानी 21 जनवरी 1989. मो कालीन प्राथमिक विद्यालय मोहम्मदपुर व जोहरा खातून रसलपुर में शिक्षिका है.
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