Bihar Elections 2025: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के पहले चरण में 18 जिलों की 121 सीटों पर मतदान जारी है. सुबह से ही मतदान केंद्रों पर मतदाताओं की लंबी कतारें दिखीं. इस बीच बिहार की सबसे चर्चित राजनीतिक फैमिली लालू परिवार ने भी लोकतंत्र के इस पर्व में हिस्सा लिया. पटना स्थित अपने मतदान केंद्र पर लालू प्रसाद यादव, राबड़ी देवी, तेजस्वी यादव और तेजप्रताप यादव ने वोट डाला. लेकिन सबसे ज्यादा चर्चा राबड़ी देवी के बयान की हुई, जिसमें उन्होंने राजनीति से ऊपर ममता और परिवारिक एकजुटता का संदेश दिया.
दोनों बेटे जनता की सेवा में हैं” – राबड़ी देवी का भावनात्मक बयान
मतदान के बाद जब राबड़ी देवी मीडिया के सामने आईं तो उनके चेहरे पर मां का आत्मविश्वास और नेत्री की दृढ़ता दोनों झलक रही थी. उन्होंने कहा —
“मेरे दोनों बेटे जनता की सेवा कर रहे हैं. तेजस्वी और तेजप्रताप को बिहार की जनता का भरपूर प्यार मिलेगा. जनता सब समझती है.”
राबड़ी देवी के इस बयान ने न सिर्फ लालू परिवार की एकता का संदेश दिया, बल्कि लंबे समय से चर्चा में रही ‘परिवार के भीतर की खामोशी’ को भी तोड़ दिया. उन्होंने कहा कि तेजप्रताप अब अपने पैरों पर खड़ा हो रहा है यह वाक्य सिर्फ बेटे के प्रति भावनात्मक समर्थन नहीं, बल्कि राजनीतिक संकेत भी था.
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व्हीलचेयर पर लालू यादव, लेकिन जनता के बीच वही पुराना जोश
लालू प्रसाद यादव भले ही उम्र और बीमारी के कारण व्हीलचेयर पर मतदान केंद्र पहुंचे हों, लेकिन उनका करिश्मा अब भी बरकरार है. भीड़ ने “तेजस्वी जिंदाबाद” और “लालू जिंदाबाद” के नारे लगाकर माहौल में जोश भर दिया. लोगों की यह प्रतिक्रिया इस बात का प्रमाण थी कि लालू परिवार का राजनीतिक प्रभाव अब भी बिहार की जनता के दिलों में गहराई तक पैठा हुआ है.
तेजस्वी यादव ने इस मौके पर कहा, “जनता बदलाव के लिए तैयार है. इस बार बिहार नई दिशा में आगे बढ़ेगा.” तेजस्वी के इस बयान से यह साफ झलकता है कि RJD का पूरा फोकस इस बार बदलाव की भावना को भुनाने पर है.
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रोहिणी आचार्य ने संभाला अलग मोर्चा, मजदूरों और युवाओं के मुद्दे पर निशाना
राबड़ी देवी और तेजस्वी के अलावा लालू-राबड़ी परिवार की बेटी रोहिणी आचार्य भी चुनावी मोर्चे पर पूरी सक्रिय दिखीं. उन्होंने कहा, “यह चुनाव उन मजदूरों के भविष्य का है, जो रोजगार के लिए गांव से बाहर भटक रहे हैं.”
रोहिणी के बयान ने इस बात की पुष्टि की कि RJD इस चुनाव में गरीबों और बेरोजगार युवाओं की आकांक्षाओं को केंद्र में रखकर रणनीति बना रही है. उन्होंने ‘डबल इंजन सरकार’ पर निशाना साधते हुए कहा कि जनता अब ऐसे वादों से थक चुकी है, जिन्हें पूरा कभी नहीं किया गया.
राबड़ी देवी का मोदी पर तीखा हमला: “कट्टा-बंदूक की बात करने वाले पहले अपनी पार्टी देखें”
राबड़ी देवी ने इस चुनावी माहौल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर सीधा हमला बोलते हुए कहा “मोदी जी कानून-व्यवस्था की बात करते हैं, लेकिन अपराधियों की पूरी जमात भाजपा की ही पंक्ति में खड़ी है. कट्टा-बंदूक की बात करने वाले यह नहीं बताते कि गोली चलाने और अगवा करने वाले कौन हैं.” राबड़ी का यह बयान केवल विरोध नहीं था, बल्कि महिलाओं की ओर से आ रही एक मुखर प्रतिक्रिया थी जहां वे सत्ता के पुरुष वर्चस्व को चुनौती देती दिखीं.
तेजस्वी-तेजप्रताप की एकजुट अपील: लोकतंत्र को मजबूत करें
तेजस्वी यादव ने कहा, “बिहार की जनता बेरोज़गारी, शिक्षा, स्वास्थ्य और महंगाई से परेशान है. इस बार जनता न्याय और अधिकारों के लिए वोट कर रही है. तेजप्रताप यादव ने भी भाई के सुर में सुर मिलाते हुए कहा, “लोकतंत्र को मज़बूत बनाने के लिए हर वोट जरूरी है.” इस बयान ने साफ कर दिया कि भले ही दोनों भाइयों के राजनीतिक सफर में मतभेदों की चर्चा रही हो, लेकिन चुनावी रण में वे एक ही पाले में खड़े हैं.
पहले चरण की वोटिंग और पारिवारिक एकजुटता का संदेश
पहले चरण की वोटिंग के साथ ही बिहार की सियासत में जोश और टकराव दोनों अपने चरम पर हैं. लालू परिवार की रणनीति इस बार पूरी तरह युवा, रोजगार और प्रवासी मुद्दों पर केंद्रित है. राबड़ी देवी का “दोनों बेटे जनता की सेवा में हैं” वाला बयान महज एक टिप्पणी नहीं, बल्कि राजनीतिक संदेश है कि भले ही विरोधी परिवारवाद का मुद्दा उठाएं, मगर यह परिवार आज भी जनता के दिल में जगह रखता है.
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