चमकी बुखार का लक्षण बच्चों में दिखे, तो अविलंब ठंडे पानी से बच्चे को स्नान कराएं
प्रतिनिधि, नवादा कार्यालय.
चमकी बुखार का लक्षण बच्चों में दिखे, तो अविलंब ठंडे पानी से बच्चे को स्नान कराएं और पारासिटामोल दें. प्राथमिक चिकित्सा के तौर पर इस पर अमल जरूरी है. यह बातें जिला स्वास्थ्य समिति की वीबीडी कंसल्टेंट रीना कुमारी ने कहीं. वह शहर के राजेंद्र नगर स्थित प्राथमिक विद्यालय में शुक्रवार को चमकी बुखार अर्थात एइएस जापानी इंसेफलाइटिस से बचाव तथा संबंधित जरूरी जानकारी दे रही थी. उन्होंने बच्चों को बताया कि अत्यधिक गर्मी एवं नमी वाले मौसम में यह बीमारी फैलती है. इसमें सावधानी बरतना बेहद जरूरी है. विद्यालय के प्रभारी प्रधानाध्यापक जतिन कुमार की अगुआई तथा विद्यालय शिक्षक पंकज कुमार, मो. शाहनवाज, वीणा कुमारी, राखी कुमारी, अंजुला कुमारी के सहयोग से आयोजित इस कार्यक्रम में बच्चों को जानकारी दी. रीना कुमारी ने कहा कि चमकी से बचाव के लिए रात में भरपेट खाना खा कर सोना जरूरी है. बच्चे को बेहोशी से बचाना है. बेहोशी में तुरंत नजदीकी अस्पताल ले जाना है. 01 से 15 वर्ष तक के बच्चों में यह बीमारी तेजी से फैलती है. उन्होंने कहा कि चमकी बुखार के लक्षण में अचानक से तेज बुखार आना, बेहोशी छाना, दांत पर दांत बैठ जाना शामिल है. बचाव के क्रम में इलेक्ट्रॉल पाउडर पीते रहना है. उनके साथ गोरे लाल प्रसाद थे, जिन्होंने भी बच्चों को संबोधित किया.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

