राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना में गर्भाशय निकालने की जांच होगी
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गर्भाशय कांड की 16 को होगी जांच: डीएम
राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना में गर्भाशय निकालने की जांच होगी लाभार्थी महिला जांच केंद्र पहुंच कर करें शिकायत मधुबनी : राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना में वर्ष 2010-11 एवं 11-12 में महिलाओं के गर्भाशय निकालने की घटना बड़ी संख्या में हुई थी. इस बात का संज्ञान लेते हुए बिहार मानवधिकार आयोग ने सभी जिलों में महिला […]
लाभार्थी महिला जांच केंद्र पहुंच कर करें शिकायत
मधुबनी : राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना में वर्ष 2010-11 एवं 11-12 में महिलाओं के गर्भाशय निकालने की घटना बड़ी संख्या में हुई थी. इस बात का संज्ञान लेते हुए बिहार मानवधिकार आयोग ने सभी जिलों में महिला लाभार्थियों जिनका गर्भाशय निकालकर ऑपरेशन किया गया था, उनकी जांच कराने का निर्देश दिया. राज्य मानवाधिकार आयोग के निर्देश के आलोक में जिला प्रशासन ने तीन सदस्यीय जांच दल का गठन किया है.
जो महिला लाभार्थियों के गर्भाशय निकालने से संबंधित शिकायतों की जांच करेगी. यह जांच सभी प्राथमिक केंद्र में एवं फुलपरास एवं झंझारपुर में रेफरल अस्पताल में 16 अप्रैल को होगा. उक्त जानकारी जिला पदाधिकारी गिरिवर दयाल सिंह ने बुधवार को समाहरणालय के सभागार में प्रेस वार्ता के दौरान कहा.
उन्होंने कहा कि जिले में उस दौरान 14 नर्सिंग होम राष्ट्रीय स्वास्थ्य जीवन बीमा के लिए सूचीबद्ध थे. इनमें से 7 नर्सिंग होम द्वारा किए गए गर्भाशय से संबंधित ऑपरेशन की सूची जिला प्रशासन को दी है. जबकि 7 नर्सिंग होम द्वारा किए गर्भाशय ऑपेरशन की सूची अब तक जिला को नहीं सौंपा गया है.
डीएम ने कहा कि ऐसी महिलाएं जिनका राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत गर्भाशय निकाल दिया गया था और उन्हें कोई शिकायत है , वे महिलायें 16 अप्रैल को अपने स्वास्थ्य केंद्र पहुंचकर जांच करा सकती हैं. ताकि फर्जीवाड़े का भंडाफोड़ हो सके एवं ऐसे जांच केंद्रों पर कार्रवाई की जा सके. डीएम ने कहा कि महिलाओं की किसी प्रकार की जांच नहीं होगी ,उनसे नर्सिंग होम व चिकित्सक के संबंध पूछताछ की जायेगी.
जांच दल में प्रखंड के प्रभारी उपसमाहर्ता, बीडीओ व सीडीपीओ रहेेंगे. साथ ही थानाध्यक्ष भी वहां मौजूद रहेंगें. डीएम ने बताया कि जांच में गलत ढ़ंग अथवा नियम से गर्भाशय निकालने की घटना यदि प्रकाश में आता है तो डॉक्टर के निबंधन रद्द करने के लिए मेडिकल कांउसिल ऑफ इंडिया को लिखा जायेगा. एवं संबंधित नर्सिंग होम का निबंधन रद्द किया जाएगा. डीएम ने कहा कि जांच की तिथि को जन जन तक पहुंचाने के लिए सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी को 14 अप्रैल को माइकिंग कराने की व्यवस्था करने का निर्देश दिया है.
इन नर्सिंग होम ने नहीं दी सूची : डीएम श्री सिंह ने कहा कि जिले के सात नर्सिंग होम ने वर्ष 2010-11 व 11-12 में गर्भाशय निकालने वाले मरीज की सूची अब तक नहीं दी है. इनमें डा. उमाकांत झा नर्सिंग होम , जीवन दीप चैरिटेबल ट्रस्ट, मां भवानी नर्सिंग होम, सीटी हॉस्पिटल, माधुरी हेल्थ केयर , मिथिलांचल नर्सिंग होम, सर्जिकल क्लीनिक शामिल है.
इन नर्सिंग होम द्वारा प्रतिवेदन नहीं देने पर इसका लाइसेंस रद्द किया जाएगा. प्रेस वार्ता में वरीय उपसमाहर्ता, नवीन कुमार, एसीएमओ डा. अर्जुन प्रसाद शामिल थे.
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