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हत्या की घटनाओं में कमी, तो लूट व वाहनों की चोरी में बढ़ी
मोहनिया शहर : मोहनिया अनुमंडल के सभी पांच प्रखंडों में पिछले चार माह यानी 2017 के जनवरी से लेकर अप्रैल तक में लूट, गृहभेदन व वाहन चोरी की घटनाएं वर्ष 2016 के जनवरी से अप्रैल तक की तुलना में वृद्धि हुई है. जबकि, हत्या, दहेज हत्या, डकैती की घटनाओं में कमी आयी है. साथ ही, […]
मोहनिया शहर : मोहनिया अनुमंडल के सभी पांच प्रखंडों में पिछले चार माह यानी 2017 के जनवरी से लेकर अप्रैल तक में लूट, गृहभेदन व वाहन चोरी की घटनाएं वर्ष 2016 के जनवरी से अप्रैल तक की तुलना में वृद्धि हुई है. जबकि, हत्या, दहेज हत्या, डकैती की घटनाओं में कमी आयी है. साथ ही, अपहरण व साधारण दंगा की घटनाओं में भी काफी कमी पिछले वर्ष की तुलना में आयी है. जानकारी के अनुसार, मोहनिया अनुमंडल में जनवरी से अप्रैल तक हत्या, लूट व डकैती सहित रंगदारी के कई मामले आये हैं. इसमें औरंगाबाद के मदनपुर निवासी पशु व्यवसायी टंडन तिवारी को लूट के दौरान गोली मार कर हत्या कर दी गयी थी.
साथ तिवारी के साथियों से भी पैसे लूट लिये थे. हालांकि, पुलिस ने इस मामले का उद्भेदन करते हुए अपराधियों को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है. जबकि, मोहनिया के चर्चित महिला डॉक्टर किरण सिंह से भी अपराधियों ने रंगदारी के तौर पर लाखों रुपये की मांग की थी. इस मामले को भी पुलिस ने उद्भेदन करते हुए यूपी निवासी सहित दो लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. यानी यह कह सकते हैं कि 2017 के जनवरी से अप्रैल तक लूट, हत्या सहित अन्य मामले का उद्भेदन किया है, जिसमें बस यात्रियों से लूटपाट व कई अपराधिक मामले शामिल हैं. मोहनिया अनुमंडल की पुलिस को वाहन चोरी से लेकर गृहभेदन के मामले में कोई सफलता नहीं मिली है. जबकि, 2016 के जनवरी से अप्रैल तक की तुलना में काफी वृद्धि हुई है. यदि पिछले वर्ष 2016 के जनवरी से अप्रैल तक के अापराधिक घटनाओं से 2017 के जनवरी से अप्रैल तक की घटनाओं की तुलना करें, तो हत्या के मामले में काफी कमी आयी है. पिछले वर्ष में 10 हत्या हुई थी. जबकि, चालू वर्ष में केवल अप्रैल में एक हत्या हुई है. दहेज हत्या की बात करें तो पिछले वर्ष पांच मामले आये, तो इस वर्ष केवल तीन मामले आये. डकैती के मामले की बात करें तो पिछले वर्ष छह मामले दर्ज हुए. जबकि, इस वर्ष चार मामला दर्ज कराया गया है.
सबसे अधिक लूट के मामले पिछले वर्ष 2016 के जनवरी से अप्रैल तक केवल दो मामला आया. 2017 में जनवरी से अप्रैल तक में पांच मामले लूट के दर्ज किये गये, गृहभेदन के मामले पर आंकड़ों पर गौर करे तो पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष के अप्रैल माह तक बढ़ोतरी हुई है. पिछले वर्ष जनवरी से अप्रैल तक 16 मामले आये. जबकि, इस वर्ष अप्रैल तक 19 मामले आये. चोरी के आंकड़ा के अनुसार पिछले वर्ष के चार माह में कुल 21 मामला दर्ज हुए. जबकि, इस वर्ष 28 मामले वाहन चोरी के दर्ज हुए हैं. रंगदारी के मामले में कमी पिछले वर्ष की तुलना में आयी है, पिछले वर्ष चार मामला था, तो इस वर्ष केवल दो मामला ही दर्ज हुआ है. दुष्कर्म से लेकर गंभीर दंगा के एक भी मामला दर्ज नहीं है.
मालूम हो कि आंकड़ों के अनुसार उत्पाद अधिनियम मामले में हुई कार्रवाई में पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष काफी बढ़ोतरी हुई है. पिछले वर्ष 29 मामले आये थे. जबकि, इस वर्ष कुल 63 मामले पर कार्रवाई की गयी है. पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष के चार महीनों में मोटर दुर्घटना में भी कमी आयी है. पिछले वर्ष 43 मामला था, तो इस वर्ष 35 मामले आये.
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