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बहनों ने की राखी की खरीदारी
बांका : भाई बहन का पवित्र पर्व रक्षा बंधन आज है. जिसमें बहन अपने भाई को रक्षा सूत्र बांध कर रक्षा करने का वचन लेगी. वहीं भाई की लंबी उम्र की कामना भी करेगी. पर्व को लेकर दुकानों पर भारी भीड़ लगी रही. इस पर्व को लेकर पंडित मनमोहन ठाकुर ने बताया बनारस पंचाग के […]
बांका : भाई बहन का पवित्र पर्व रक्षा बंधन आज है. जिसमें बहन अपने भाई को रक्षा सूत्र बांध कर रक्षा करने का वचन लेगी. वहीं भाई की लंबी उम्र की कामना भी करेगी. पर्व को लेकर दुकानों पर भारी भीड़ लगी रही. इस पर्व को लेकर पंडित मनमोहन ठाकुर ने बताया बनारस पंचाग के अनुसार रक्षा सूत्र बांधने का शुभ मुहूर्त शनिवार को दिन कि 1 बज कर 45 मिनट के बाद से भद्रा प्रारंभ होकर रात के 8.15 तक है.
भद्रा को शुभ माना गया है. इस लिए दोनों के बीच का समय ही शुभ है. उन्होंने कहा कि इसको लेकर एक पौराणिक कथा है. कि राजा बलि दानी राजा थे जिसके पुण्य से इंद्र का इंद्रासन डोलने लगा यह देख इंद्र के देवताओं अपने इंद्रासन को बचाने की गुहार लगायी.
इस पर भगवान विष्णु ने 52वां अवतार अंगुली का रूप एवं ब्राह्मण का वेश धारण कर श्रावण मास के पूर्णिमा के सायंकाल में बलि के दरबाजे पर पहुंच कर तीन पग पृथ्वी दान में देने को कहा इस पर राजा ने हंस कर अपने से माप कर लेने का कहा तब भगवान ने एक पग में आकाश पाताल एवं दूसरे पग में पृथ्वी को माप लिया. इसके बाद राजा से तीसरा पग धरती की मांग की. जिसपर राजा ने अपने शरीर को माप कर ले लेने को कहा यह सुन कर भगवान ने राजा को कहा जाओ राजा बन कर रहो. लेकिन दान जब करोगे तो इसके पुण्य का भागी तुम नहीं मैं बनूंगा.
इसके लिए भगवान ने बलि को मंत्र येन बद्धों बली राजा दानवेंद्रों महाबल: तेन त्वां प्रति बध्नामि रक्षे मा चल मा चल: से बांध दिया तब से इस मंत्र से रक्षा सूत्र बांधने की परंपरा चली आ रही है.
भद्रा काली में राखी क्यों बांधा जाता है : सांसारिक जीवन बिताने वालों के लिए शुभ मुहूर्त माना जाता है. इसमें गृह पूजन उत्सव, कन्या विदाई सहित आदि शुभ कार्य किया जाता है. शुभ होने के कारण भद्रा में ही रक्षा बंधन का पर्व का मनाया जाता है.
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