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जामुड़िया में दूषित पेयजल की समस्या ज्यों की त्यों

पांचवीं बार सड़क पर लोग

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जामुड़िया. जामुड़िया विधानसभा क्षेत्र में पिछले दो माह से व्याप्त दूषित पेयजल की समस्या अब गंभीर रूप लेती जा रही है. गुरुवार को इस समस्या से त्रस्त विभिन्न वार्डों के निवासियों ने पांचवी बार सड़क अवरोध कर अपना आक्रोश व्यक्त किया. जामुड़िया मुख्य बाजार स्थित सिदो कान्हू मोड़, छह नंबर बाइपास मुस्लिम पाड़ा, ग्वालापाड़ा एवं थाना मोड़, नंदी रोड, मंडलपुर सहित अन्य कई स्थानों पर लोगों ने सड़क जाम कर दिया, जिससे राहगीरों को भारी परेशानी हुई. स्थानीय लोगों का कहना है कि पिछले दो महीनों से उनके घरों में आपूर्ति होने वाला पानी इतना गंदा है कि उसे पीने से लोग बीमार पड़ रहे हैं और विभिन्न प्रकार की बीमारियों का शिकार हो रहे हैं. महिलाओं ने बताया कि उनके पास पानी खरीदकर पीने के साधन नहीं हैं और उन्हें मजबूरन दूषित पानी का उपयोग करना पड़ रहा है, जिससे उनके बच्च बीमार हो रहे हैं. इस समस्या से परेशान होकर लोग लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन उनकी शिकायतों पर कोई सुनवाई नहीं हो रही है.

इस विषय पर पूछे जाने पर बोरों एक के चेयरमैन शेख शानदार ने बताया कि अजय नदी स्थित दरबार डांगा प्रोजेक्ट में पानी में दूषण की मात्रा बढ़ जाने के कारण पानी प्रदूषित हुआ है. उन्होंने कहा कि इसे ठीक करने के लिए कार्य किया जा रहा है.हालांकि, स्थानीय निवासियों का कहना है कि समस्या को ठीक करने में काफी समय लग रहा है और उन्हें तत्काल स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति चाहिए.

इस विषय में पश्चिम बंगाल प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सदस्य विश्वनाथ यादव ने कहा कि आसनसोल नगर निगम के अधीन जामुड़िया बोरो-एक के तहत शिरीषडांगा ओवरहेड टैंक से जो पेयजल आपूर्ति की जा रही है, वह पूरी तरह से दूषित हो चुकी है. उन्होंने कहा कि आसनसोल नगर निगम दूषित पेयजल के कारण का पता लगाने और जल को शुद्ध करने में विफल रहा है। यादव ने पीएचई विभाग एवं पश्चिम बर्दवान जिला प्रशासन से इस मुद्दे पर तुरंत ध्यान देने और स्वच्छ पेयजल आपूर्ति को जल्द बहाल करने की मांग की है. यह भी कहा कि जैसे-जैसे गर्मी बढ़ रही है, जामुड़िया बोरों में पेयजल की किल्लत चारों ओर दिखाई दे रही है और निगम द्वारा संचालित दूषित पेयजल पीने से लोग पेट की बीमारियों से ग्रस्त हो रहे हैं, जो जनता में असंतोष का मुख्य कारण है.

सूत्रों के अनुसार दामोदर नदी के दरबार डांगा घाट से जलापूर्ति करने वाले स्थान के समीप एक निजी कंपनी द्वारा ओपन कास्ट माइंस की जा रही है,जिसकी मिट्टी जलापूर्ति वाले स्थान पर पहुंच कर पानी मे मिल जा रहीं है,यह पानी सठीक रूप से फ़िल्टर नहीं हो रही है,जिसके कारण नलों में दूषित पानी आ रही है. लगातार हो रहे प्रदर्शनों के बावजूद यदि प्रशासन और संबंधित विभाग इस गंभीर समस्या पर तत्काल ध्यान नहीं देते हैं, तो स्थिति और भी बिगड़ सकती है और लोगों का आक्रोश और बढ़ सकता है.

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