खरसावां.
खरसावां छऊ नृत्य कला केंद्र को पुन: सुचारू रूप से संचालित करने को लेकर समीक्षा बैठक हुई. इसमें युवाओं को प्रशिक्षण देने का कार्यक्रम तय किया गया. बैठक में आर्टिस्ट एसोसिएशन, सरायकेला के संरक्षक सह समाजसेवी मनोज चौधरी ने कहा कि छऊ नृत्य कला के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए हम प्रतिबद्ध हैं. आर्टिस्ट एसोसिएशन का लक्ष्य छऊ की तीनों शैलियों को विकास के मार्ग पर ले जाना है. कला के क्षेत्र में सात पद्मश्री पुरस्कार प्राप्त करने के बावजूद सरायकेला-खरसावां का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में शामिल नहीं होना दुर्भाग्यपूर्ण है. उन्होंने इसके लिए पहल करने की बात कही. उन्होंने खरसावां छऊ के कलाकारों को प्रतिभा की धनी बताते हुए शीघ्र ही खरसावां छऊ के विश्व स्तर पहचान की शुभकामनाएं दी.राजघराने की कला क्षेत्र की पहचान
अनूप सिंहदेवविधायक प्रतिनिधि सह राजघराने के सदस्य अनूप कुमार सिंहदेव ने कहा कि राजघराने की यह कला आज क्षेत्र की पहचान है. यह न केवल मनोरंजन का साधन है, बल्कि आराधना का माध्यम भी है. उन्होंने स्थानीय विधायक दशरथ का गागराई की पहल की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्होंने इस कला के उत्थान के लिए हर संभव सहायता प्रदान करने का आश्वासन दिया है. समारोह को आर्टिस्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष भोला मोहंती एवं सचिव सुदीप कवि ने खरसावां छऊ को एक नये मुकाम तक पहुंचाने में हर संभव सहयोग का भरोसा दिया. इस दौरान संगीत नाटक अकादमी अवॉर्डी बृजेंद्र पटनायक, गुरु तरुण कुमार भोल, गुरु आशीष कर, वरिष्ठ कलाकार अविनाश कवि, पंकज साहू, खरसावां छऊ के संयोजक मोहम्मद दिलदार, पिनाकी रंजन, सुदीप घोड़ेई, बसंत गणतायत सहित 40 कलाकार उपस्थित थे. सभी अतिथियों को शॉल ओढ़ा कर सम्मानित किया गया. इससे पूर्व सभी अतिथियों ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का विधिवत उद्घाटन किया. इस दौरान रंगारंग कार्यक्रम के जरिये बच्चों द्वारा मनमोहक प्रस्तुति दी.
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