बुधवार को सोनारी से कपाली के बीच हुई थी लूट की घटना
जमशेदपुर : कागलनगर के सतगुरु अपार्टमेंट निवासी निशा कोड़ा का अपहरण करने व लूटपाट करने के आरोपी मानगो ग्रीन वाटिका के ताजदार आलम ने गुरुवार की शाम एसएसपी कार्यालय में एसपी सिटी सुभाष चंद्र जाट के समक्ष सरेंडर कर दिया.
पूछताछ में ताजदार ने बताया कि निशा कोड़ा झूठ बोल रही हैं. बुधवार को वह उसके साथ बिष्टुपुर स्थित छगनलाल ज्वेलर्स में उनकी कार से गया था. इस दौरान वह 1.30 घंटे तक कार में बैठा रहा, जबकि निशा दुकान में थीं. उसी के कहने पर दोनों लोग कपाली कांदरबेड़ा की ओर जमीन देखने जा रहे थे. जहां पहुंचने पर अचानक दो कार व एक बाइक से कुछ लोग पहुंचे, जिनमें से चार ने अपना मुंह ढंका हुआ था. सभी कार के पास आये और पिस्तौल दिखा पहले उसे और बाद में निशा को पिछली सीट पर बैठा दिया. साथ ही एक युवक ड्राइविंग सीट पर बैठा और दो हमलाेगों के साथ. बैठते ही कार स्टार्ट कर अपराधी चांडिल जंगल की ओर जाने लगे.
इस दौरान कार चला रहे युवक ने कहा कि तुम दोनों को मारने का ऑर्डर मिला है, लेकिन पैसे दे दो, तो छोड़ देंगे. इस पर जान बचाने के लिए जमीन देने की बात कही. वहीं, निशा ने उनलोगाें से पूछा कि उन्हें मारने के लिए किसने भेजा है, जिसका उन्होंने जवाब नहीं दिया. इस बीच निशा ने कहा कि शिखा चौधरी का भाई अमित चौधरी उससे दो लाख रुपये मांग रहा था, उसे वह पूर्व में भी दो लाख रुपये दे चुकी हैं.
उसने रुपये नहीं देने पर जान से मारने व बच्चों के अपहरण करने की धमकी दी थी. निशा ने बताया था कि अमित चौधरी ने उसे भी मारने की धमकी दी थी. यह बात सुन कार में बैठे अपराधी हंसने लगे. उन्होंने कहा कि वे लोग बहुत जल्दी समझ गये, जिसके बाद निशा ने अपराधियों से कहा कि अमित व शिखा चौधरी ने जितने रुपये उन्हें मारने के लिए दिये हैं. उससे ज्यादा रुपये वह उनलोगों को मारने के लिए देगी.
इस पर अपराधियों ने 50 लाख की मांग की, लेकिन निशा ने 10-12 लाख तक देने की बात कही. इसके बाद अपराधियों के कहने पर निशा ने आइसीआइसीआइ बैंक में एफडी टूटने की जानकारी ली और मुझे घर से गहने, जेवर व एफडी के कागजात लाने को कहा.
ताजदार के अनुसार इसके बाद अपराधी दूसरी कार से उसे और निशा को घर ले जाने के लिए तैयार हुए. रास्ते में वह पेशाब करने के बहाने कार से उतरा, तो एक अपराधी भी पिस्तौल के साथ नीचे आया, लेकिन उसे धक्का देकर वह पैदल ही भाग गया और चांडिल पहुंच गया. वहां से ट्रक से पुरुलिया गया. जहां से स्कॉर्पियो से रांची पहुंचा और एसएसपी और सिटी एसपी को घटना की जानकारी दी.
गुरुवार की सुबह जब वह अखबार पढ़ा, तो पता चला कि मुझ पर झूठा आरोप लगाया गया है, जिसके बाद उसने सरेंडर कर दिया. वहीं, दूसरी ओर निशा कोड़ा के बयान पर सोनारी थाना में ताजदार आलम समेत चार अन्य के खिलाफ अपहरण व ठगी की प्राथमिकी दर्ज की गयी है.