चार नाबालिगों को बाल मजदूरी के लिए एल्लेपी एक्सप्रेस से केरल ले जाते हुए आरपीएफ ने दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है. बक्सर जिला स्थित थाना धनसोई भगवानपुर निवासी राधे श्याम सिंह व देवघर जिला के बुढ़ई थाना क्षेत्र के रामजीत पंडित को बुधवार को पकड़ा गया था. सभी नाबालिग देवघर के मार्गोमुंडा के रहने वाले हैं. इन्हें चाइल्ड लाइन के हवाले कर दिया गया है. आरपीएफ क्राइम इंटेलिजेंस ब्रांच इंस्पेक्टर अरविंद कुमार राम ने बताया कि गुप्त सूचना मिली थी कि 13351 एलेप्पी एक्सप्रेस से नाबालिग बच्चों को मजदूरी करने के लिए ले जाया जा रहा है. पूछताछ में राधे श्याम सिंह ने बताया कि वह तथा रामजीत पंडित केरल में ओजोन चीप बोर्ड प्राइवेट लिमिटेड में काम करने लगे. वह केरल की अलग-अलग कंपनियों में लेबर सप्लाई करता था. उसने रामजीत पंडित को लेबर लाने के लिए एडवांस में 20 हजार रुपया दिया. रामजीत ने मर्गोमुन्डा थाना अंतर्गत टीकोपहाड़ी गांव में जाकर कुछ गांव के लोगो को भ्रमित कर उनके बच्चे को पैसे का लालच देकर चार बच्चों को ले जाने के लिए सेट किया. उसने उनका फर्जी आधार कार्ड तैयार कर उसमें उनकी उम्र अधिक कर दी.
बच्चों को 10 हजार रुपया वेतन देने का दिया गया था लालच :
इंस्पेक्टर अरविंद कुमार राम ने बताया कि आरपीएफ ने चारों बच्चों का आधार कार्ड चेक करवाया. सभी नाबालिग निकले. इस दौरान बच्चों से पूछताछ की गयी, तो उन्होंने बताया कि हम लोग इन दोनों को नहीं पहचानते. कुछ दिन पहले रामजीत ने हमलोगों से संपर्क कर 10 हजार रुपया महीना पर केरल की किसी कंपनी में जोखिमभरा काम करवाने के लिए ले जाने को बोला था. रामजीत ने हमलोगों आधार कार्ड लेकर सभी की उम्र 18 वर्ष कराया था. रामजीत के साथ धनबाद पहुंचने पर यहां राधे श्याम मिला. उसने हमलोगों का पहले से रेलवे टिकट बनवा रखा था. रास्ते में खाने पीने का एक-एक हजार रुपया खर्चा भी दिया था.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है