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धनबाद : पीएमसीएच में चार घंटे नहीं मिली ऑक्सीजन, मची अफरा-तफरी
धनबाद : पीएमसीएच में इमरजेंसी को छोड़कर बाकी वार्डों में ऑक्सीजन की सप्लाइ चार घंटे तक बंद रही. इससे अफरा-तफरी मच गयी. मरीजों के परिजन हंगामा करने लगे. आइसीयू के कर्मचारियों ने इमरजेंसी से ऑक्सीजन सिलिंडर रिप्लेसमेंट के आधार पर लाकर लगाया. इसके बाद मरीजों को राहत मिली. दरअसल, पीएमसीएच में ऑक्सीजन आपूर्ति करने वाली […]
धनबाद : पीएमसीएच में इमरजेंसी को छोड़कर बाकी वार्डों में ऑक्सीजन की सप्लाइ चार घंटे तक बंद रही. इससे अफरा-तफरी मच गयी. मरीजों के परिजन हंगामा करने लगे. आइसीयू के कर्मचारियों ने इमरजेंसी से ऑक्सीजन सिलिंडर रिप्लेसमेंट के आधार पर लाकर लगाया. इसके बाद मरीजों को राहत मिली.
दरअसल, पीएमसीएच में ऑक्सीजन आपूर्ति करने वाली कंपनी का एक वर्ष से लगभग 12 लाख रुपया बकाया है. बुधवार को पीएमसीएच के इमरजेंसी, आइसीयू, सामान्य मेडिसिन, ऑर्थोपेडिक्स वार्ड, सर्जरी वार्ड में कई मरीजों को ऑक्सीजन नहीं मिल पायी. हालांकि देर शाम कंपनी ने 12 सिलिंडर भेजे.
हर दिन 12 की जरूरत, स्टॉक में नहीं रह रहा सिलिंडर
500 बेड वाले पीएमसीएच में हर दिन 12 ऑक्सीजन सिलिंडर की जरूरत है. इमरजेंसी, आइसीयू, एचडीयू, जेरेट्रिक वार्ड, मेसिडिन वार्ड, एलआइसीयू, एसएनसीयू, ऑर्थोपेडिक्स वार्ड, सर्जरी आदि में इसकी जरूरत होती है. इसके लिए अस्पताल में 12 प्वाइंट हैं. फिलहाल अस्पताल में ऑक्सीजन की मैनुअल सप्लाइ होती है. यूपी के गोरखपुर के अस्पताल में हादसे के बाद पीएमसीएच सहित अन्य अस्पताल में भी स्टॉक में ऑक्सीजन रखने का निर्देश सरकार ने दिया है. लेकिन स्टॉक में ऑक्सीजन नहीं रह पा रहा है.
2009 की रेट, 12 लाख बकाया
पीएमसीएच में जेजे इंटर प्राइजेज फर्म की ओर से आॅक्सीजन उपलब्ध करायी जाती है. कंपनी का कहना है कि प्रति माह 70-80 हजार का बिल होता है. लेकिन एक वर्ष से भुगतान नहीं हुआ है. इस कारण 12 लाख से अधिक की राशि अस्पताल पर बकाया हो गया है. पीएमसीएच 2009 की रेट कंपनी को दे रहा है. बड़ा सिलिंडर (सात हजार सौ क्यूबिक लीटर) को 240 रुपये में मुहैया कराते हैं. जबकि बाजार में कीमत 350 रुपये हैं. छोटा सिलिंडर 125 रुपये में मुहैया कराया जाता है. कंपनी कहना है कि राशि नहीं मिलने से स्थिति खराब हो रही है.
धनबाद : गेट पर तड़पता रहा मरीज पत्नी ले गयी निजी अस्पताल
धनबाद : पीएमसीएच में सरकारी व्यवस्था से खिन्न वासेपुर के दंपती ने बुधवार को जमकर हंगामा किया. बदइंतजामी को लेकर अस्पताल प्रबंधन को खरी-खोटी सुनाई. इसके बाद महिला अपने बीमार पति को किसी निजी अस्पताल ले गयी. वासेपुर के मो रजी आलम पेट व पैर के इलाज के लिए यहां आये थे. लेकिन किसी कर्मी का सहयोग नहीं मिला. वह इमरजेंसी के गेट पर ही गिर कर तड़पने लगे. इसके बाद महिला ने हंगामा शुरू कर दिया.
पहले ओपीडी-इमरजेंसी, फिर कहा दवा लाओ, स्ट्रेचर ठेलो : मो रजी को उनकी पत्नी अपराह्न दो बजे पीएमसीएच लेकर आयी. यहां से उन्हें इमरजेंसी भेज दिया गया. इमरजेंसी में 3.50 बजे चिकित्सकों ने जांच करके भर्ती के लिए कागज बना दिया. लेकिन अपराह्न 4.30 बजे तक कोई भी कर्मी उन्हें वार्ड में शिफ्ट करने नहीं आया.
इस बीच एक कर्मी ने बाहर से दवा के लिए उन्हें पर्ची थमा दिया. कर्मी ने कहा कि स्ट्रेचर ठेलने के लिए आदमी चाहिए. महिला ने कहा कि मेरे पास कोई आदमी नहीं है. इतने में काफी देर हो गयी. जब कोई कर्मी स्ट्रेचर लेकर नहीं आया, तो महिला हंगामा करने लगी.
गरीबों को कोई देखने वाला नहीं
महिला ने कहा कि यहां बाहर से दवा व सामान खरीदना है. स्टॉफ कहते हैं कि स्ट्रेचर ठेलने के लिए आदमी लेकर आइए, तब मरीज वार्ड में जा सकेगा. ऐसे में यहां क्यों इलाज करायें. गरीबों को निजी अस्पतालों में ही जाना पड़ेगा. गरीब मरीजों को यहां कोई देखने वाला नहीं हैं.
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