सहरसा . बिहार विधान परिषद सदस्य डॉ अजय कुमार सिंह ने कहा कि जयप्रभा मेदांता सुपरस्पेशलिटी हॉस्पिटल पटना में इलाज कराना राज्य के गरीबों का अधिकार है. बिहार विधान परिषद के बजट सत्र में डॉ सिंह ने सरकार से तारंकित प्रश्न के माध्यम से इस मुद्दे पर चर्चा की एवं गरीबों के इलाज से संबंधित जानकारी मांगी. सरकार ने विधान परिषद में स्वीकार किया कि राज्य के गरीब मरीजों के लिए मेदांता अस्पताल में मुफ्त इलाज के लिए 25 प्रतिशत बिस्तर आरक्षित है. साथ ही यह भी कहा कि पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप के तहत मेदांता अस्पताल को रियायत समझौते के तहत जमीन की लीज दी गयी है. मेदांता अस्पताल के कुल आरक्षित बिस्तर पर राज्य सरकार द्वारा पारदर्शी रेफरल प्रक्रिया अपनाते हुए मुख्यमंत्री चिकित्सा की पात्रता रखने वाले कार्डियक साइंस, न्यूरोसाइंस, रीनल साइंस एवं ऑन्कोलॉजी से संबंधित गरीब रोगियों को भरती किया जाता है. इसके तहत राज्य के विभिन्न चिकित्सा महाविद्यालय एवं जिला अस्पतालों से गरीब मरीज रेफर होकर मेदांता आ सकते हैं. विधान पार्षद डॉ अजय कुमार सिंह ने सरकार की नियत पर सवाल उठाते कहा कि बिहार के आम गरीब अपने इस अधिकार से अवगत नहीं हैं एवं सरकार इसका प्रचार प्रसार भी नहीं कर रही है. मेदांता अस्पताल की स्थापना के बाद 14 करोड़ की आबादी वाले बिहार के मात्र 4953 गरीब मरीजों का इलाज मेदांता अस्पताल में अब तक हुआ है. डॉ सिंह ने इसे एक छोटी संख्या बताई. विधान पार्षद ने सरकार से गरीबों के इस इलाज के अधिकार का व्यापक प्रचार प्रसार का अनुरोध किया है. सरकार ने जिलों के सिविल सर्जन सह मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी एवं मेदांता अस्पताल प्रशासन को विभागीय पत्र के आलोक में व्यापक प्रचार प्रसार किए जाने के लिए निर्देशित किया है.
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