संवाददाता,पटना भाजपा ने बुधवार को राजद नेता तेजस्वी यादव पर बड़े-बड़े चुनावी वादे करके बिहार के लोगों को मूर्ख बनाने का आरोप लगाया. साथ ही जन सुराज के सूत्रधार प्रशांत किशोर पर भी निशाना साधा. भाजपा ने बिहार की जनता से महागठबंधन की चाल या किसी भी नयी प्रयोगात्मक राजनीति में फंसने के बजाय एनडीए के ‘जांचे-परखे’ नेतृत्व को अपना जनादेश देने का आह्वान किया है. भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता एवं राज्यसभा सदस्य सुधांशु त्रिवेदी ने राजद नेता तेजस्वी यादव के चुनावी वादों को एक क्रूर मजाक करार दिया. उन्होंने तेजस्वी यादव की नीयत पर सवाल उठाते हुए कहा कि इसके लिए बिहार सरकार के वर्तमान बजट से कहीं अधिक धन की आवश्यकता होगी. सुधांशु त्रिवेदी ने नयी दिल्ली में भाजपा मुख्यालय में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि तेजस्वी ने वादा किया है कि वह हर परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देंगे. मौजूदा अनुमानों के अनुसार, बिहार की आबादी लगभग 13.5 करोड़ है. जिन परिवारों के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जायेगी, (जैसा कि तेजस्वी यादव ने वादा किया है) उनकी संख्या लगभग 2.90 करोड़ होगी. इनका वेतन 30,000 रुपये से दो लाख रुपये तक होंगे. उन्होंने कहा कि यदि उनका अनुमानित औसत वेतन 75,000 रुपये के आसपास आता है, तो इस मद में व्यय लगभग 29 लाख करोड़ रुपये आयेगा, जबकि बिहार का वर्तमान बजट लगभग 3,17,000 करोड़ रुपये है. जन सुराज के उम्मीदवारों को भाजपा के वरिष्ठ नेताओं द्वारा धमकाए जाने के आरोप पर त्रिवेदी ने कहा कि जो लोग अपनी ही पार्टी में विश्वास पैदा नहीं कर पाए, वे जनता का भरोसा कैसे हासिल कर पायेंगे? जन सुराज एक नया विचार पेश करने की कोशिश कर रहा है, लेकिन दिल्ली की जनता पहले ही इस तरह के विचार से त्रस्त हो चुकी है. कहा कि बिहार में किसी नये प्रयोग की कोई गुंजाइश नहीं है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जैसे जांचे-परखे हुए नेताओं पर भरोसा दिखायेंगे.
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