मधुबनी : कुत्ते के खौफ से लोग सहमे हुए हैं. जिस प्रकार कुत्ते काटने से घायल लोग अस्पताल पहुंच रहे हैं यह सिलसिला बढ़ता ही जा रहा है . आंकड़े बताते हैं कि पिछले तीन माह में करीब पांच हजार से अधिक लोगों को कुत्ते ने काट कर घायल किया है. आलम यह है कि रातों को कुत्ते के डर से आम लोग बाहर नहीं निकलते हैं. हालांकि स्वास्थ्य विभाग के पास कुत्ता काटने पर दी जाने वाली दवा पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध नहीं है.
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तीन माह में 5000 हुए शिकार
मधुबनी : कुत्ते के खौफ से लोग सहमे हुए हैं. जिस प्रकार कुत्ते काटने से घायल लोग अस्पताल पहुंच रहे हैं यह सिलसिला बढ़ता ही जा रहा है . आंकड़े बताते हैं कि पिछले तीन माह में करीब पांच हजार से अधिक लोगों को कुत्ते ने काट कर घायल किया है. आलम यह है कि […]
बढ़ रहा कुत्तों का आतंक
शहर सहित जिले में आवारा कुत्ते की संख्या बढ़ती जा रही है. शाम होते ही लोगों का सड़कों पर चलना दूभर हो जाता है. जैसे जैसे रात वीरान होती है कुत्ते का आतंक भी बढ़ जाता है. शहर का ऐसा एक भी गली या मुख्य सड़क नहीं है जहां पर रात को लोग आसानी से चले जायें. लोगों को दूर तक कुत्ता खदेड़ कर काट कर घायल कर देता है. रातों को बाजार आने जाने में अब लोगों को डर लगता है.
शहर के चभच्चा चौक, शंकर चौक, बस स्टैंड, बाटा चौक, आर के कॉलेज रोड सहित अन्य सड़क मार्ग में रात होते ही कुत्ते का जमावड़ा हो जाता है और लोगों का निकलना असंभव हो जाता है. यदि मजबूरी में लोग बाहर निकलते हैं तो उन्हें कुत्ते के काटने का हमेशा ही डर बना रहता है. लोगों को रात के समय निकलने में परेशानी होती है. हर चौराहे पर अिधक संख्या में कुता होते हैं जो कभी भी हमला कर देते हैं.
प्रखंडवार घायलों की संख्या
मधुबनी अगस्त 125
सितंबर 115
अक्तूबर 130
लदनिंया जुलाई 64
अगस्त 29
सितंबर 45
रहिका अगस्त 13
सितंबर 13
अक्तूबर 14
हरलाखी अगस्त 11
सितंबर 18
अक्तूबर 12
कलुआही अगस्त 25
सितंबर 45
अक्तूबर 30
बेनीपट्टी अगस्त 42
सितंबर 47
अक्तूबर 45
बिस्फी अगस्त 47
सितंबर 40
अक्तूबर 30
मधवापुर अगस्त 28
सितंबर 25
अक्तूबर 09
पंडौल अगस्त 37
सितंबर 18
अक्तूबर 13
राजनगर अगस्त 74
सितंबर 27
अक्तूबर 60
बासोपट्टी अगस्त 62
सितंबर 36
अक्तूबर 6
मधेपुर अगस्त 48सितंबर 54
अक्तूबर 22
खुटौना अगस्त 62
सितंबर 16
अक्तूबर 29
झंझारपुर अगस्त 52
सितंबर 69
अक्तूबर 78
दवा की किल्लत
जिले में एंटी रैबीज वैक्सीन की काफी किल्लत है. एआरवी की आपूर्ति में वीएमआईसीएल फिसड्डी साबित हो रहा है. जिला स्वास्थ्य समिति द्वारा दवा आपूर्ति कर्ता निगम वीएमआईसीएल को 35 हजार एआरवी वायल की आपूर्ति के लिए पत्र लिखा गया था. जिसके विरुद्ध निगम द्वारा पांच अक्तूबर को महज 1 हजार एआरवी वायल की आपूर्ति किया गया है. जिसके बाद पुन: निगम को 35 हजार वायल आपूर्ति के लिए निगम को तीन नवंबर को पत्र लिखा गया है.
मांग के अनुरूप नहीं मिली दवा
दवा आपूर्तिकर्ता निगम वीएमआईसीएल को 35 हजार एआरवी वायल की आपूर्ति के लिए पत्र लिखा गया था. जिसके विरुद्ध निगम द्वारा अक्तूबर माह में महज एक हजार एआरवी वायल की आपूर्ति किया गया. पुन: निगम को 35 हजार एआरवी वायल आपूर्ति करने के लिए पत्र लिखा गया है.
डाॅ अमर नाथ झा, सिविल सर्जन
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