आंदोलन . पुनर्वास की मांग को लेकर विस्थापितों ने िनकाला जुलूस
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प्रदर्शनकारियों का तेवर देख बंद कर दिया समाहरणालय गेट
आंदोलन . पुनर्वास की मांग को लेकर विस्थापितों ने िनकाला जुलूस समाहरणालय के पास कुछ देर बनी रही अफरा-तफरी कल करेंगे जिले की नाकेबंदी कटिहार : पुनर्वास संघर्ष समिति के तत्वाधान में गुरुवार को सैकड़ों विस्थापित परिवारों ने जिला प्रशासन के विरुद्ध मोरचा खोलते हुए शहर के राजेंद्र स्टेडियम से जुलूस निकाला. जुलूस शहर के […]
समाहरणालय के पास कुछ देर बनी रही अफरा-तफरी
कल करेंगे जिले की नाकेबंदी
कटिहार : पुनर्वास संघर्ष समिति के तत्वाधान में गुरुवार को सैकड़ों विस्थापित परिवारों ने जिला प्रशासन के विरुद्ध मोरचा खोलते हुए शहर के राजेंद्र स्टेडियम से जुलूस निकाला. जुलूस शहर के शहीद चौक, ओवरब्रिज, जीआरपी चौक होते हुए अमर जवान चौक, मिरचाईबाड़ी अंबेदकर चौक होते हुए समाहरणालय पहुंचा. आंदोलनकारियों की भीड़ को देखते हुए समाहरणालय के मुख्य गेट पर तैनात सुरक्षा कर्मियों ने गेट को बंद कर दिया. इससे समाहरणालय के समीप कुछ देर तक अफरातफरी की स्थिति रही.
आंदोलनकारी जिला प्रशासन के विरुद्ध नारेबाजी करते हुए राजेंद्र स्टेडियम की ओर रूख कर लिये. बताते चले कि पुनर्वास संघर्ष समिति के तत्वाधान शहर के राजेंद्र स्टेडियम में विस्थापित परिवारों को पुनर्वास कराने को लेकर संस्था के संस्थापक चार दिनों से आमरण अनशन पर है. चार दिनों के बाद जिला प्रशासन की ओर से विस्थापित परिवार को पुनर्वास कराने को लेकर किसी प्रकार का ठोस निर्णय नहीं लिये जाने के कारण संस्था के संस्थापक विक्टर झा ने कहा कि अगामी 24 जून को कटिहार की पूर्णरूप नाकेबंदी की जायेगी. सड़क, रेल मार्ग, सरकारी गैर सरकारी प्रतिष्ठान को बंद कराया जायेगा. जबतक उनकी मांगें पूरी नहीं की जायेगी तबतक जिले में पूर्ण नाकेबंदी व बाजार बंद रहेगा.
उग्र आंदोलन की दी चेतावनी : जुलूस में सैकड़ों की संख्या में पुरुष व महिला वर्ग शामिल थे.
इनमें जिला प्रशासन के विरुद्ध काफी आक्रोश दिख रहा था. जुलूस में शामिल आजमनगर, अमदाबाद, मनसाही, मनिहारी, कुरसेला, कदवा तथा अन्य प्रखंड के विस्थापित लोगों ने कहा कि वे सभी वर्षो से विस्थापित होकर दर दर की ठोकर खा रहे हैं. कभी अपना आशियाना सड़क किनारे, तो कभी रेलवे ट्रैक किनारे लगाते हैं. सड़क किनारे जगह नहीं मिलने पर दूर दराज के बांध पर किसी प्रकार अपना आशियाना बनाकर अपना तथा अपने परिजन के साथ जीवन यापन करते हैं.
जिला प्रशासन से यह भी देखा नहीं गया, तो उन्हें वहां से भी हटाने की कवायद शुरू कर दी गयी है. महानंदा बांध व मनिहारी अनुमंडल अस्पताल के समीप रह रहे विस्थापित परिवारों को जबरन हटाने के बाद विस्थापित परिवार के तेवर और भी गरम हो गये हैं. जुलूस में शामिल आंदोलनकारियों ने कहा कि या तो जिला प्रशासन उन्हें पुनर्वास कराये या फिर उग्र आंदोलन के लिए तैयार रहे. मौके पर राजू अग्रवाल, संतोष दास, मुन्ना सिंह, मिथिलेश, हारूण रशीद, सफी अहमद, इंद्रदेव चौधरी, एलविश, गुड्डू यादव, उमेश मौनी, आलमगीर, तपन, बीरबल, सौरव, राजु सहनी, जय जय राम पांडे सहित कई प्रखंडों से आये विस्थापित परिवार शामिल थे.
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