पटेढ़ी बेलसर. स्वतंत्रता दिवस के मौके पर राजकीयकृत उच्च माध्यमिक विद्यालय चकगुलामुद्दीन में आयोजित कार्यक्रम में प्रधानाध्यापक जुल्फिकार अंसारी केे निर्धारित समय से डेढ़ घंटे पहले ही झंडोत्तोलन करने और परंपरा के अनुसार जलेबी की जगह खुरमा (शकरपाला) बांटने पर ग्रामीणों और अभिभावकों ने कड़ा विरोध जताया. विद्यालय में माहौल तनावपूर्ण हो गया और ग्रामीणों ने प्रधानाध्यापक व शिक्षकों को विद्यालय में रोके रखा.
ग्रामीणों का आरोप था कि प्रधानाध्यापक ने बिना किसी सूचना के सुबह नौ बजे की जगह सुबह साढ़े सात बजे ही झंडोत्तोलन कर दिया, जबकि बड़ी संख्या में बच्चे उस समय तक विद्यालय नहीं पहुंच पाये थे. स्थिति तब और बिगड़ गयी जब झंडोत्तोलन के बाद जलेबी के स्थान पर घर में तैयार शकरपाला (खुरमा) बांटा जाने लगा.खबर मिलने पर पहुंचे ग्रामीण
खबर फैलते ही बड़ी संख्या में ग्रामीण विद्यालय पहुंच गये और प्रधानाध्यापक के खिलाफ नारेबाजी करने लगे. ग्रामीण संजीव कुमार, श्रीराम सिंह, प्रमोद कुमार, आशुतोष कुमार, विनोद कुमार, अनमोल कुमार सहित कई लोगों ने आरोप लगाया कि प्रधानाध्यापक स्वतंत्रता दिवस जैसे अवसर पर मनमानी कर लोगों की भावनाओं को आहत की है. सूचना मिलते ही बेलसर थाने की पुलिस मौके पर पहुंची और आक्रोशित लोगों को समझाने-बुझाने की कोशिश की. हालांकि, भीड़ का आक्रोश कम नहीं हुआ. विवाद बढ़ता देख बीडीओ प्रियंका भारती भी विद्यालय पहुंचीं और मामले की जांच की. बीडीओ ने आक्रोशित ग्रामीणों और अभिभावकों की शिकायतें सुनीं और प्रधानाध्यापक तथा शिक्षकों का भी पक्ष जाना. प्राथमिक जांच में बीडीओ ने पाया कि झंडोत्तोलन कार्यक्रम में अनियमितता बरती गई है. उन्होंने तत्काल प्रभाव से प्रधानाध्यापक का वेतन पर रोके लगाते हुए 24 घंटे के भीतर उनसे स्पष्टीकरण मांगा है. ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि प्रशासन ने प्रधानाध्यापक को निलंबित करने की दिशा में सख्त कदम नहीं उठाया, तो वे सोमवार से विद्यालय में तालाबंदी करेंगे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

