Raxaul Airport: केंद्र और राज्य सरकार की रजामंदी के बाद रक्सौल एयरपोर्ट को संचालित करने को लेकर सभी तरह के आवश्यक तैयारियों को जल्द से जल्द पूरा करने का काम किया जा रहा है. भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (Airports Authority of India) ने रक्सौल एयरपोर्ट को चालू करने के लिए राज्य सरकार से बिना शर्त अतिरिक्त 121 एकड़ जमीन की डिमांड की थी. जिसके लिए राज्य कैबिनेट ने अनुमति मिलने के बाद जमीन के अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू हुई थी और दिसंबर के अंतिम सप्ताह में अधिग्रहण को लेकर सभी तरह की कागजी कार्य को पूरा कर लिए जाने की संभावना है. जिसके बाद रैयतों को उनके जमीन का भुगतान किया जाएगा.
क्या है योजना
जमीन के अधिग्रहण का कार्य पूरा हो जाने के बाद राज्य सरकार रक्सौल एयरपोर्ट के लिए अधिग्रहित की गई जमीन को भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण को सौंपेगी. इसके बाद, रक्सौल एयरपोर्ट के विकास काम भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण के द्वारा कराया जाएगा. रक्सौल से 8 सीटर विमान के परिचालन को लेकर बैंगलोर की कंपनी स्प्रिट एयर को लेटर ऑफ इंटेंट पहले ही जारी किया जा चुका है.
रक्सौल से दो रूटों पटना के समीप बिहटा और यूपी के बनारस के बीच 8 सीटर विमान उड़ाने को लेकर लेटर ऑफ इंटेंट जारी किया गया है. हालांकि, बाद में रक्सौल एयरपोर्ट के रनवे का विस्तार आदि का काम होने के बाद यहां से एटीआर-72 जैसे विमानों को उड़ाने की भी योजना है. ए-320 जैसे विमानों के परिचालन को लेकर अभी तैयारी नहीं देखी जा रही है.
बिहार की ताजा खबरों के लिए क्लिक करें
प्रक्रिया लास्ट फेज में
भविष्य में रक्सौल एयरपोर्ट का दायरा बढ़ेगा. नेपाल की सीमा से सटा होने के कारण रक्सौल से उड़ने वाले विमानों से नेपाली नागरिकों को भी लाभ मिलेगा. जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी होने के बाद तुरंत भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण के द्वारा यहां एयरपोर्ट को चालू करने की दिशा में ठोस कदम उठाया जाएगा. फिलहाल स्थिति यह है कि जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया अंतिम चरण में है और रैयतों को अंतिम नोटिस दिया जा चुका है.
इसे भी पढ़ें: बिहार में कोहरा और ठंड का डबल अटैक, सभी 38 जिलों में मौसम विभाग का अलर्ट, एडवाइजरी जारी

