Water Crisis: बेतिया. गर्मी के मौसम में लोगों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने के लिए लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण कार्यालय, पश्चिम चम्पारण, बेतिया के चापाकल मरम्मति दल को मंगलवार को प्रभारी जिला पदाधिकारी ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. अब जल्द ही खराब चापाकलों की मरम्मति होगी और घर-घर स्वच्छ जल पहुंचेगा. चापाकल मरम्मति दल वाहन में सभी आवश्यक उपस्करों के साथ अभियंताओं, कामगारों की टीम उपस्थित रहेगी, जो खराब पड़े चापाकल की मरम्मति कर सुचारू करने का कार्य करेगी. इस दौरान जिलाधिकारी ने कहा कि गर्मी का मौसम शुरू होने वाला है. जिलेवासियों को पानी की किल्लत नहीं होने पाएं, इसका विशेष ध्यान रखना है तथा सारी व्यवस्थाएं अपडेट रखनी है. उन्होंने कहा कि खराब पड़े चापाकल को तुरंत ठीक करें. साथ ही नल-जल योजना के तहत लाभुकों को हर हाल में पानी दिलाना सुनिश्चित करें.
सुझावों पर होगी अविलंब कार्रवाई
कार्यपालक अभियंता, पीएचईडी संयोग कुमार ने बताया कि जिला पदाधिकारी के निर्देशानुसार जिले के सभी प्रखंडों के लिए अलग-अलग मरम्मति दल को आज रवाना किया गया है. उन्होंने बताया कि सार्वजनिक स्थलों पर खराब पड़े चापाकलों को युद्धस्तर पर ठीक कराने की कार्रवाई प्रारंभ कर दी गयी है. लोक स्वास्थ्य प्रमंडल, बेतिया के तत्वावधान में सभी आवश्यक उपस्करों एवं अभियंताओं, कामगारों से लैश चापाकल मरम्मति दल जिले के गांव-गांव में जाकर खराब पड़े चापाकलों को युद्धस्तर पर ठीक करेगा. उन्होंने बताया पीएचईडी के जिला नियंत्रण कक्ष के मोबाईल नंबर-9471807001 तथा हेल्प लाईन नंबर-8544428909 पर जिलेवासी चापाकल, नल-जल से संबंधित शिकायत एवं सुझाव दर्ज करा सकते हैं. दर्ज शिकायतों एवं सुझावों पर अविलंब कार्रवाई की जायेगी.
350 खराब चापाकलों की होगी मरम्मत
कार्यपालक अभियंता संयोग कुमार ने बताया कि फिलवक्त विभागीय सर्वे में 350 चापाकलों के बंद होने की सूचना प्राप्त हुई है. जिसकी मरम्मत के लिए प्रखंडवार मरम्मत दल को रवाना किया गया है. वैसे जिला नियंत्रण कक्ष तथा हेल्प लाइन नंबर पर यदि कहीं से खराब चापाकल की शिकायत दर्ज होगी तो वहां भी दल पहुंचकर उसकी मरम्मत करेगा. उन्होंने कहा कि सरकार, विभाग तथा उनका प्रयास होगा कि गर्मी में कहीं भी पेयजल की दिक्कत नहीं हो. मौके पर अपर समाहर्ता राजीव कुमार सिंह, कार्यपालक अभियंता लोक स्वास्थ्य प्रमंडल, पश्चिम चम्पारण संयोग कुमार सहित अन्य पदाधिकारी उपस्थित रहे.
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