नक्सली हमला. सुरक्षा एजेंसियों ने किया आगाह
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हिट लिस्ट में हैं जिले के आधा दर्जन थाने
नक्सली हमला. सुरक्षा एजेंसियों ने किया आगाह बांका जिले के आधे दर्जन थाने माओवादियों की हिट लिस्ट में हैं. झारखंड तथा जमुई जिले की सीमा से लगे इन थानों में नक्सली गतिविधियों को लेकर खुफिया एजेंसियों ने पुलिस उच्चाधिकारियों को आगाह किया है. इसमें कहा गया है कि गुपचुप बैठक कर माओवादी विध्वंसक कार्रवाई को […]
बांका जिले के आधे दर्जन थाने माओवादियों की हिट लिस्ट में हैं. झारखंड तथा जमुई जिले की सीमा से लगे इन थानों में नक्सली गतिविधियों को लेकर खुफिया एजेंसियों ने पुलिस उच्चाधिकारियों को आगाह किया है. इसमें कहा गया है कि गुपचुप बैठक कर माओवादी विध्वंसक कार्रवाई को अंजाम देने की रणनीति तैयार कर रहे हैं.
बांका : झारखंड तथा जमुई जिले की सीमा से लगे बांका जिले के आधे दर्जन थाने माओवादियों की हिट लिस्ट में हैं. इनमें बेलहर, कटोरिया, आनंदपुर, चांदन, जयपुर, खेसर तथा फुल्लीडुमर थाना शामिल हैं. हाल के दिनों में माओवादियों की सीमावर्ती क्षेत्रों में बढ़ी हुई गतिविधियों को देखते हुए इन थानों की सुरक्षा बढ़ा दी गयी है. वहां सैप जवानों के साथ-साथ अर्धसैनिक बलों की तैनाती की गयी है. सुईया में एसएसबी की एक कंपनी सुरक्षित रखी गयी है.
रात के समय बिना समुचित तलाशी के थाना परिसरों में किसी भी अजनबी के प्रवेश पर रोक लगा दी गयी है. इन थानों की सशक्त सुरक्षा घेराबंदी के साथ 24 घंटे गश्ती के आदेश अर्धसैनिक बलों को दिये गये हैं. सीआरपीएफ के जवानों को खासतौर से इन थानों की सुरक्षा में लगाया गया है. सरकारी खुफिया एजेंसियां क्षेत्र में चल रही माओवादी गतिविधियों पर सतत निगरानी रख रही हैं. हलांकि पुलिस सतर्कता की वजह से माओवादियों ने अपनी गतिविधियों का केंद्र बटिया से लेकर झाझा-सिमुलतला के घने और दुर्गम जंगलों को बना रखा है.
नक्सली चला रहे जन अभियान
खुफिया एजेंसियों की रिपोर्ट है कि क्षेत्र में माओवादी जहां नियमित बैठकें आयोजित कर रहे हैं, वहीं चोरी-छिपे सीमा पार कर बांका जिले के प्रभावित क्षेत्रों में वे सांस्कृतिक प्रचार के जरिए जन अभियान चला रहे हैं. इस अभियान का उद्देश्य किसी विध्वंसक कार्रवाई के लिए जन समर्थन हासिल करना है. माओवादी कुछ दिनों तक चुप रह कर हमला करने की नीति के तहत यह सब कर रहे हैं. पुलिस तथा प्रशासन के उच्चाधिकारियों को इन एजेंसियों ने ताजा स्थिति से अवगत करा दिया है. खुफिया एजेंसियों के मुताबिक इसी नीति के तहत माओवादी जिले के खेसर थाना,
बघधसवा स्कूल तथा संग्रामपुर ब्लाक को उड़ा चुके हैं. सीमा से लगे जमुई के सिमुलतला थाना को भी इसी तरह नक्सली विध्वंस के हवाले कर चुके हैं. हाल के दिनों में सोनो, चकाई और झाझा थाना क्षेत्रों में भी इसी तरह की कई घटनाओं को अंजाम देने की पृष्ठभूमि का सुरक्षा तंत्र रहस्योद्घाटन कर चुका है. पुलिस एनकाउंटर में भाकपा माओवादी के जोनल कमांडर चिराग दा उर्फ रामचंद्र महतो की मौत तथा कई प्रमुख नक्सली नेताओं की एक के बाद एक हुई गिरफ्तारी से माओवादी संगठन के वरिष्ठ नेताओं समेत दस्ते में शामिल सक्रिय नक्सली बौखलाये हुए हैं. खुफिया तंत्र की रिपोर्ट के मुताबिक इस बार वे थाना भवनों को अपना निशाना बनाने के मूड में हैं.
किसी भी स्थिति से निबटने में सक्षम है पुलिस
पुलिस प्रशासन किसी भी स्थिति से निबटने को तैयार और सक्षम है. जिले के सीमावर्ती प्रभावित क्षेत्रों में मुकम्मल सुरक्षा इंतजाम है. फिर भी सुरक्षा बलों को हाई अलर्ट कर दिया गया है. नक्सल प्रभावित इलाके में लगातार छापामारी एवं एरिया डोमिनेशन का अभियान चलाया जा रहा है. सभी थानों में भी सुरक्षा इंतजाम सशक्त कर दिये गये हैं.
वरुण कुमार सिन्हा, डीआइजी,भागलपुर.
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