बादलों की ओर टकटकी लगाये बारिश का इंतजार कर रहे किसान
औरंगाबाद (सदर) : मौसम की बेरूखी से अकाल की आशंका प्रबल हो गयी है. पहले रोहिणी नक्षत्र, फिर मृगशीरा व आद्रा बीता, अब सावन भी बीत रहा है. इसके बावजूद जिले के 80 प्रतिशत इलाकों में धान के बिचड़े नहीं डाले गये. इससे जिले में सूखे की आशंका मंडरा रही है.
सोन कैनाल की बात छोड़ दें, तो बाकी सभी नहरें सूखी पड़ी हैं. परेशान किसान आकाश की ओर टकटकी लगाये बारिश का इंतजार कर रहे हैं. लेकिन, आसमान में दूर–दूर तक बादलों का बसेरा नहीं दिख रहा है. ओबरा, दाउदनगर, हसपुरा, नवीनगर व कुटुंबा के कुछ क्षेत्रों को छोड़ कर कहीं भी बिचड़ा नहीं डाला गया है.
सबसे खराब स्थिति मदनपुर, देव, रफीगंज व सदर प्रखंडों की है. आद्रा नक्षत्र के प्रारंभ में मॉनूसन की पहली बारिश से किसानों के चेहरे खिल उठे थे. उनमें बारिश होने की उम्मीद जगी थी. उन्हें लगने लगा था कि इस बार फसल अच्छी होगी. लेकिन, दो–तीन दिन बारिश होने के बाद पुन: एक बार सुखाड़ की स्थिति उत्पन्न हो गयी है. ऊमस भरी गरमी से भी लोग परेशान हैं.