19 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

मौसम का बदला मिजाज, उमड़े काले बादल, हुई बारिश, बढ़ी ठंड

अररिया : मौसम वैज्ञनिकों के पूर्वानुमान मंगलवार की शाम से ही दिखने लगा. जो कि बुधवार की सुबह 05 बजे से ही बारिश की बूंदे लेकर आया. इसके बाद से लगभग डेढ़ बजे तक बारिश हुई. जो कि दो बजे के बाद से कम होती दिखी. लेकिन मौसम वैज्ञानिकों का यह दावा कि बारिश संध्या […]

अररिया : मौसम वैज्ञनिकों के पूर्वानुमान मंगलवार की शाम से ही दिखने लगा. जो कि बुधवार की सुबह 05 बजे से ही बारिश की बूंदे लेकर आया. इसके बाद से लगभग डेढ़ बजे तक बारिश हुई. जो कि दो बजे के बाद से कम होती दिखी. लेकिन मौसम वैज्ञानिकों का यह दावा कि बारिश संध्या 05 बजे से 07 बजे तक होगी. सच होता दिखा. गुरुवार को भी मौसम के मिजाज कुछ ऐसे ही रहेंगे.
ऐसे दावे मौसम वैज्ञनिकों के द्वारा किये जा रहे हैं. हालांकि पूर्वानुमान के तहत किसानों के चैहरे पर सिकन की लकीर दिख रही थी. लेकिन रूक-रूक कर हुई बारिश ने उन्हें कुछ धीरज जरूर बंधाया. लेकिन उनके दिन इस बात को लेकर घड़कते दिखे कि कल क्या होगा. किसानों के खेतों में मक्का के फसल, गेंहू के फसल व दलहन के फसल अभी जवानी पर हैं. ऐसे हालात में अगर मौसम का मिजाज इन पर हावी होता है तो परिणाम कुछ भी निकल कर सामने आ सकते हैं.
लगातार बारिश, बाढ़ व सुखाड़ का खामियाजा भुगत चुके किसानों के लिए अगर बर्बादी का मंजर अधिक होता है तो उनका परेशान होना जायज हो जायेगा. बहरहाल बुधवार को मौसम ने ऐसी किसी भी खतरे की घंटी नहीं बजाई. बस हवा की ब्यार के साथ एक बार फिर जिलेवासियों को सर्द का एहसास कराया.
कुछ यूं बीता मौसम
सुबह 05 बजे बारिश जो 12 बजे तक हुआ, तीन से 04 बजे तक बारिश रूकी, पुन: 05 बजे संध्या से 07 बजे तक रूक-रूक कर होती रही बारिश
भरगामा में भी बरसे बादल, ओले भी गिरे
भरगामा . बुधवार को हुई मुशलाधार बारिश से भरगामा व आस-पास के किसानों के चेहरे खिल उठे. हालांकि बारिश के साथ बर्फ बारी हुई. लेकिन पत्थरों का आकार छोटा रहने के कारण फसलों को नुकसान नही पहुंचा.
इस बारिश से गेहूं, मक्का व अन्य तिलहन फसलों के अलावा आम के मंजरों को काफी फायदा पहुंचा है. साथ ही किसानों को पटवन का भी खर्च बच गया. कहते है कि इन दिनो आम के पेड पर मंजर आ गया है. जानकारी के मुताबिक आम के मंजर पर बारिश का बूंद गिरने से उसे फायदा पहुंचा है. कहते हैं कि इस बार ठंड में कोहरा नहीं के बराबर गिरा.
लिहाजा किसानों को कम पैदावार होने की आशंका सताने लगी थी. किसानों में यह आशंका घर कर गई थी कि काफी खर्च कर खेतों में फसल तो लगा लिया. लेकिन मौसम के इस दगाबाजी से कहीं उपज पर असर न पड जाए. लेकिन बुधवार को हुई बारिश से किसान प्रफुल्लित हो उठे. क्योंकि उन्हें इस बारिश से गेहूं के दूसरी सिंचाई करने का अतिरिक्त खर्च का बचत हो गया. दोपहर के तीन बजे के बाद लोगों को सूर्य का दर्शन हुआ.
इससे पहले पूरा वातावरण घने काले बादलों से ढका रहा. इधर कृषक बंटी सिंह, बेचन झा, अमर चौहान, उदित झा, जिवन सिंह, सनदेव शर्मा, महेंद्र मेहता, संजय सिंह आदि ने बताया कि गेहूं के लिए इन दिनों पानी जरूरी था.
उल्लेखनिय हो कि भरगामा प्रखंड क्षेत्र की अधिकांश भूभाग उपजाऊ है. जिसमें इन दिनों किसान गेहूं, मक्का, तिलहनी फसलों में सूर्यमूखी सहित अन्य फसल लगाये हुए हैं. गेहूं व मक्का की अगतीया बुआई वाली फसलों में दूसरे पटवन व लेट बुआई फसलों में पहले पटवन कि आवश्यकता थी. जो इस बारिश से अमूमन पूरा होता दिख रहा है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें