जाड़े की मौसम में ‘मिस्ट’ बनने से दृश्यता होती है कम वाहन चालकों की लापरवाही दुर्घटना होने की मुख्य वजह : एसपी हावड़ा. ग्रामीण हावड़ा के अंतर्गत आनेवाले राष्ट्रीय राजमार्ग पर आये दिन दुर्घटनाओं की संख्या बढ़ती जा रही है. इन दुर्घटनाओं पर कैसे लगाम लगाया जाये, यह ग्रामीण हावड़ा पुलिस के लिए निश्चित तौर पर एक चुनौती बनकर सामने आयी है. गर्मी की मौसम की तुलना में जाड़े की मौसम में दुर्घटनाएं बढ़ जाती हैं. पिछले तीन दिनों के अंदर दो किशोर और एक बस चालक की मौत सड़क दुर्घटना में हुई है. शुक्रवार की रात को बाइक रेस में दो किशोर की जान गयी और इसके एक दिन बाद यानी शनिवार को हावड़ा से आमता के झिकिरा जा रही एक बस आमता में एक ट्रेलर से टकरा गयी. इस घटना में बुरी तरह से घायल बस चालक की मौत इलाज के दौरान हो गयी. पुलिस ने बताया कि जाड़े की मौसम में ‘मिस्ट’ ( एक तरह का कोहरा, जो दृश्यता को लगभग एक किलोमीटर तक कम कर देता है और यह कोहरे के समान होता है, लेकिन उससे कम घना होता है) के कारण दुर्घटनाएं बढ़ जाती हैं. इसके लिए वाहन की गति को कम रखना जरूरी होता है, लेकिन राष्ट्रीय राजमार्ग पर ऐसा देखने को बहुत कम मिलता है. दुर्घटनाओं को रोकने के लिए वाहन चालकों को अपनी कुछ आदतों से बाज आना होगा. राष्ट्रीय राजमार्ग पर अधिकतर दुर्घटनाएं वाहन चालकों की लापरवाही से होती है. स्पीड लिमिट को पार करके गाड़ी चलाना, सिग्नल की अनदेखी करना और अचानक टर्न लेकर दूसरे मार्ग पर चले जाना है. कई गाड़ियों से सामने की सीट पर बैठने वाला व्यक्ति सीट बेल्ट नहीं लगाते हैं. इसमें चालक भी शामिल है. इस बारे में पूछे जाने पर एसपी सुबीमल पाल ने बताया कि दुर्घटना नहीं हो, इसके लिए ट्रैफिक पुलिस दिन-रात काम करती है, लेकिन सिर्फ पुलिस के सड़क पर रहने से दुर्घटनाओं को कम करना संभव नहीं है. राष्ट्रीय राजमार्ग पर सभी क्रॉसिंग पर पुलिस की तैनाती रहती है. कई जगहों पर साइन बोर्ड लगाये गये हैं. वाहन चालकों को सजग होने की जरूरत है और ड्यूटी पर तैनात ट्रैफिक पुलिस मदद करने के लिए ही खड़ी है. उन्हें अपना दुश्मन नहीं समझें और ट्रैफिक नियम मानकर ही वाहन चलायें.
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