दुर्गापुर.
बाहरी श्रमिकों को नौकरी में प्राथमिकता देने और स्थानीय लोगों को इससे वंचित रखने के विरोध में तृणमूल कार्यकर्ताओं ने सोमवार सुबह दुर्गापुर के सागरभांगा कॉलोनी में एक निजी फैक्टरी के सामने प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने कारखाने में प्रवेश कर रहे बाहरी श्रमिकों और ठेकेदार को रोक दिया, जिससे उत्तेजना की स्थिति उत्पन्न हो गयी. ऋतब्रत बनर्जी का हस्तक्षेप और मुद्दे का समाधानपिछले शनिवार को तृणमूल श्रमिक संगठन के प्रदेश अध्यक्ष ऋतब्रत बनर्जी सागरभांगा कॉलोनी स्थित निजी कारखाने में आये थे. उस दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के निर्देशानुसार यूनियन की नयी कमेटी की सूची अधिकारियों को सौंपी थी. प्रदर्शनकारी तृणमूल कार्यकर्ताओं ने इस अवसर पर बाहरी लोगों के बजाय स्थानीय लोगों को नौकरी में प्राथमिकता देने की मांग की थी, जिस पर उन्होंने सहमति जतायी थी.प्रदर्शन और गुस्से का सामना
हालांकि, सोमवार को जब पांच बाहरी श्रमिकों ने कारखाने में प्रवेश करने का प्रयास किया, तो स्थानीय तृणमूल कार्यकर्ताओं ने उन्हें और उनके ठेकेदार को भी रोक दिया. तृणमूल श्रमिक संगठन की नयी समिति के संयुक्त सचिव शेख रमजान प्रदर्शनकारी तृणमूल श्रमिकों के गुस्से का सामना करने के बाद फैक्टरी गेट से चले गये.नौकरी में स्थानीय को प्राथमिकता न देने से तृणमूल कार्यकर्ता नाराज
तृणमूल कार्यकर्ताओं ने चेतावनी दी कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं हो जातीं और स्थानीय लोगों को नौकरी में प्राथमिकता नहीं दी जाती, तब तक वे अपना आंदोलन जारी रखेंगे. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने पार्टी नेतृत्व के एक वर्ग के खिलाफ भी विरोध जताया. उन्होंने कहा कि वे पार्टी नेताओं के झूठे वादों के जाल में फंसे हुए हैं. उनका आरोप था कि डेढ़ साल से नहीं, बल्कि बारह वर्षों से वे इस वादे के तहत पार्टी का समर्थन कर रहे थे कि मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार स्थानीय लोगों को काम में प्राथमिकता दी जायेगी, लेकिन जब काम की बात आयी तो बाहरी लोगों को नौकरी मिल रही है और स्थानीय लोगों को इससे वंचित रखा जा रहा है.
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