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हिंदी में प्रश्न पत्र का शिक्षाविदों ने किया स्वागत

परीक्षार्थियों को प्रश्न समझने में आसानी से बेहतर होगा रिजल्ट राज्य सरकार के इस निर्णय का स्वागत, काफी पहले होनी थी घोषणा आसनसोल : राज्य सरकार के उच्च माध्यमिक में हिंदी में प्रश्न पत्र दिये जाने की घोषणा का शिल्पांचल के शिक्षाविदों, बुद्धिजीवियों ने सहर्ष स्वागत किया है. हिंदी में प्रश्न पत्र देने को लेकर […]

परीक्षार्थियों को प्रश्न समझने में आसानी से बेहतर होगा रिजल्ट

राज्य सरकार के इस निर्णय का स्वागत, काफी पहले होनी थी घोषणा
आसनसोल : राज्य सरकार के उच्च माध्यमिक में हिंदी में प्रश्न पत्र दिये जाने की घोषणा का शिल्पांचल के शिक्षाविदों, बुद्धिजीवियों ने सहर्ष स्वागत किया है. हिंदी में प्रश्न पत्र देने को लेकर उन्होंने राज्य सरकार के शिक्षा मंत्रलय के निर्णय को राज्य के हिंदीभाषी स्टूडेंटस के लिए उठाया गया सराहनीय कदम बताते हुए मंत्रलय का आभार प्रकट किया है. स्कूल के प्राचार्यो ने कहा कि उनके समय में यह सुविधा नहीं होने के कारण अंग्रेजी में आये प्रश्न पत्र देखकर अधिकांश स्टूडेंटस भ्रमित हो जाते थे और प्रश्न का उत्तर जानने के बावजूद भी उसे हल नहीं कर पाते थे.
काजी नजरूल विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग की कोर्डिनेटर प्रतिमा प्रसाद ने कहा कि मातृभाषा में प्रश्न पत्र आने से स्टूडेंटस को प्रश्नों को समझने में आसानी होगी. जिससे प्रश्नों को समझने में लगने वाला अतिरिक्त समय बचेगा और वे ज्यादा से ज्यादा प्रश्नों को हल कर सकेंगे. जिसका प्रत्यक्ष परिणाम उनके परीक्षा फलों पर पडेगा और वे बेहतर प्रदर्शन कर सकेंगे. उन्होंने कहा हिंदीभाषियों के लिए यह बहुत बडी उपलब्धि होगी.
पूर्व रेलवे एचएस स्कूल (आसनसोल) के प्राचार्य हिरणमय बनर्जी ने कहा कि यह अत्यंत स्वागत योग्य निर्णय है. शिक्षा मंत्रलय में पोलिसी बनाने वाले लोग सही निर्णय लिये हैं. हिंदीभाषी स्टूडेंटस हिंदी में पढ़ते हैं, कक्षाओं में भी शिक्षक हंिदूी में पढाते और समझाते हैं और प्रश्नों के उत्तर भी हंिदूी में ही लिखते आये हैं. परंतु उच्च माध्यमिक में अंग्रेजी में प्रश्न आने से अधिकांश स्टूडेंटस भ्रमित हो जाते हैं. परंतु अब यह इस असुविधा से हमेशा के लिए स्टूडेंटस को छुटकारा मिल जायेगा.
जोहरमल जलान इंस्टिच्यूट के प्राचार्य डॉ उदास चक्रवर्ती ने कहा कि हिंदी में प्रश्न पत्र तो राज्य के हिंदीभाषी स्टूडेंटस की लंबे समय से चली आ रही मांग है. राज्य सरकार ने उच्च माध्यमिक में हंिदूी में प्रश्न पत्र देने की घोषणा से हंिदूीभाषी स्टूडेंटस का समय भी बचेगा और वे परीक्षा परिणाम बेहतर कर सकेंगे. उन्होंने राज्य सरकार के निर्णय का स्वागत किया.
जोहरमल जलान इंस्टिच्यूट के हिंदी विषय के शिक्षक बेचैन प्रसाद ने कहा कि हिंदी में प्रश्न पत्र आने से बच्चों का मनोबल बढेगा और वे प्रश्नों को कम समय में समझ और हल कर पायेंगे. पहले अंग्रेजी में प्रश्न पत्र आने से स्टूडेंटस को परेशानी होती थी. मातृभाषा में प्रश्न पत्र दिये जाने से इसका लाभ स्टूडेंटस को मिलेगा. उन्होंने कहा लंबे समय से शिल्पांचल में इसकी मांग उठती आयी है.
नगर निगम संचालित कृष्णालाल स्कूल के प्रधानाचार्य कमलेश तिवारी ने इसे स्वागत योग्य निर्णय बताते हुए राज्य सरकार को धन्यवाद दिया. उन्होंने कहा कि हिंदी में प्रश्न पत्र आने से बच्चे ज्यादा से ज्यादा प्रश्नों को हल कर पायेंगे और उन्हें अंग्रेजी से हंिदूी में अनुवाद करने में लगने वाले समय की बचत होगी. उन्होने कहा शिल्पांचल के स्टूडैंटस के साथ साथ उनके अभिभावक भी इस निर्णय से खुश होंगे.

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