CM Yogi: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को लोकभवन सभागार, लखनऊ में आयोजित उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के नियुक्ति पत्र वितरण कार्यक्रम में चयनित 2,425 मुख्य सेविकाओं और 13 फार्मासिस्टों को नियुक्ति पत्र सौंपे. इस अवसर पर उन्होंने कहा कि एक समय था जब भ्रष्टाचार और बंदरबांट की राजनीति ने प्रदेश को पहचान के संकट में धकेल दिया था, लेकिन अब हालात बदल चुके हैं. उत्तर प्रदेश आज रोजगार, पारदर्शिता और महिला सशक्तिकरण की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है.
भ्रष्टाचार और परिवारवाद से मुक्ति की ओर यूपी
सीएम योगी ने कहा कि 2017 से पहले नियुक्तियों में बंदरबांट और भ्रष्टाचार का बोलबाला था. योग्य अभ्यर्थी भेदभाव का शिकार होते थे। उन्होंने कहा, “1947 से 1960 तक यूपी देश का अग्रणी प्रदेश था, लेकिन 1990 के बाद यहां गिरावट तेज हो गई। 2017 तक यूपी का योगदान 8% से भी कम रह गया. यह दंगों, परिवारवाद और भ्रष्टाचार की राजनीति का परिणाम था.”
युवाओं को मिल रहे रोजगार के नए अवसर
सीएम ने चयनित अभ्यर्थियों को बधाई देते हुए कहा कि निष्पक्ष भर्ती प्रक्रिया के जरिए युवाओं को अब उनके सपनों को पूरा करने का अवसर मिल रहा है. उन्होंने कहा कि यह राष्ट्रीय क्षति थी जब योग्य और प्रतिभाशाली युवा भेदभाव और भ्रष्टाचार के कारण अवसरों से वंचित रह जाते थे.
विपक्ष पर साधा निशाना
मुख्यमंत्री ने विपक्ष को घेरते हुए कहा कि उनके पास कोई मुद्दा नहीं है, केवल नकारात्मकता है. उन्होंने स्कूल मर्जर को लेकर विपक्षी दलों की आलोचना पर पलटवार करते हुए कहा कि जर्जर भवनों को शिफ्ट करना और छात्र-शिक्षक अनुपात सुधारना राष्ट्रीय शिक्षा नीति का हिस्सा है. उन्होंने बताया कि 5000 से अधिक बाल वाटिकाएं सफलतापूर्वक संचालित की जा रही हैं, जहां बच्चों के पोषण और मानसिक विकास पर ध्यान दिया जा रहा है.
महिला सशक्तिकरण में नए आयाम
सीएम योगी ने कहा कि यूपी महिला सशक्तिकरण की दिशा में लगातार आगे बढ़ रहा है. हाल ही में हुई 60,244 पुलिस भर्ती में 12,045 बेटियां चयनित हुईं। 1947 से 2017 तक सिर्फ 10,000 महिला पुलिसकर्मी थीं, जबकि बीते 8 वर्षों में 40,000 से अधिक महिलाओं की भर्ती की गई है. उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना से 26 लाख से अधिक बेटियों को लाभ मिला है, वहीं सामूहिक विवाह योजना से 4 लाख शादियां संपन्न कराई गईं.
स्वास्थ्य और पोषण पर विशेष जोर
सीएम ने कहा कि 2017 के बाद प्रदेश में महिलाओं और बच्चों के स्वास्थ्य के क्षेत्र में उल्लेखनीय सुधार हुआ है. एनएफएचएस सर्वे के अनुसार एनीमिया, स्टंटिंग और अल्पवजन के मामलों में कमी आई है. उन्होंने मुख्य सेविकाओं से अपील की कि वे आंगनबाड़ी केंद्रों पर पोषण, शिक्षा और स्वास्थ्य योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू करें.
विभाग की उपलब्धियां
सीएम योगी ने बताया कि इस वर्ष 19,424 आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों, 3,000 सहायिकाओं का प्रमोशन हुआ है और 22,290 मिनी आंगनबाड़ियों को मुख्य आंगनबाड़ी में तब्दील किया गया है. उन्होंने कहा कि आंगनबाड़ी केंद्रों के कायाकल्प से ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चों और महिलाओं को सीधे लाभ मिल रहा है.

