लखनऊ : उत्तर प्रदेश के ज्यादातर इलाकों में पिछले कुछ दिनों से जारी बारिश अब मुसीबत बन चुकी है. वर्षा के कारण जीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है. बंगाल की खाड़ी से आ रही पूर्वा हवा की वजह से जगह-जगह घिरे बादल पिछले कई दिन से रूक-रूक कर बरस रहे हैं.
इसकी वजह से जनजीवन दरहम-बरहम हो गया है. बलिया में लगातार बारिश की वजह से रविवार को बलिया-छपरा रेल प्रखंड पर यातायात ठप हो गया. बलिया में आज तड़के सवा चार बजे भारी बारिश के कारण छपरा-बलिया रेल खंड पर बलिया और बांसडीह रेलवे स्टेशन के बीच मिट्टी धंसने पटरी धंस गयी और यहां यातायात पूरी तरह ठप हो गया.
इस वजह से सात ट्रेनों का संचालन निरस्त कर दिया है तथा छह ट्रेनों को परिवर्तित मार्ग से भेजा जा रहा है. धंसी हुई पटरी को ठीक करने की कोशिश की जा रही है. आंचलिक मौसम केन्द्र ने बताया कि दक्षिण-पश्चिमी मानसून पूरे प्रदेश में सक्रिय है.
विशेषकर पूर्वी इलाकों में यह खासा तेज है. पिछले 24 घंटे में प्रदेश में अनेक स्थानों पर वर्षा हुई. कुछ जगहों पर भारी से बहुत भारी बारिश भी हुई. इस अवधि में ज्ञानपुर में सबसे ज्यादा 21 सेंटीमीटर वर्षा रिकॉर्ड की गयी. इसके अलावा लालगंज में 18, हंडिया और चुनार में 17-17, करछना और वाराणसी में 15-15, राजघाट में 14, फूलपुर तथा इलाहाबाद में 13-13, मिर्जापुर, आजमगढ़ में 12-12, मोहम्मदाबाद, बलिया तथा जौनपुर में 11-11 सेंटीमीटर बारिश दर्ज की गयी.
अगले 24 घंटे में राज्य में कुछ स्थानों पर वर्षा होने का अनुमान है. बलिया जिले में पिछले पांच दिन से हो रही बारिश से आम जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. भीमपुरा थाना क्षेत्र के केवलडीह गांव में रविवार सुबह बारिश के कारण दीवार गिरने से मलबे में दबकर जानकी प्रसाद (55) की मौत हो गयी.
उभांव थाना क्षेत्र के शाह कुंडैल गांव स्थित ईंट-भट्ठे के निकट बने बरसाती तालाब में डूब कर हरी राम राजभर (40) की मौत हो गई. पकड़ी गांव में अनवरत हो रही बारिश के कारण शनिवार देर रात एक कच्चा मकान गिरने से चार लोग घायल हो गए.
गोंडा से प्राप्त सूचना के मुताबिक अपर जिलाधिकारी रत्नाकर मिश्र ने बताया कि जिले में बारिश के कारण कई कच्चे मकान गिरने की खबर है. सभी उप जिलाधिकारियों को सतर्कता बनाए रखने और नुकसान की रिपोर्ट तत्काल भेजने के निर्देश दिए गए हैं ताकि पीड़ितों को यथाशीघ्र सहायता पहुंचाई जा सके.
इस बीच सरयू नदी पर बने भिखारीपुर-सकरौर तटबंध के टूटने का खतरा मंडराने लगा है. बच्चीपुर माझा के पास स्पर नम्बर दो और तीन खतरनाक स्थिति में पहुंच गये हैं. इसके साथ ही तटबंध के किलोमीटर 13.600 पर कई बड़े गड्ढे तथा रेनकट के कारण स्थिति नाजुक बनी हुई है.कई स्थानों पर तटबंध पर निर्मित सड़क और बांध की पटरी धंस गई है, जिससे गाड़ियों का आना-जाना मुश्किल हो गया है. इसके साथ ही निश्चिंत पुरवा व मदरही के सामने किमी नौ और 10 के बीच घाघरा नदी धीरे-धीरे कटान करते हुए बांध से मात्र 20 मीटर दूरी पर आ गई है. पिछले वर्ष भी यह तटबंध टूट जाने की वजह से कई गांवों में बाढ़ ने भीषण तबाही मचाई थी.