-देवघर एम्स के शपथ पत्र पर राज्य सरकार को जवाब दायर करने का निर्देश
-मामला देवघर एम्स में बिजली, पानी, फायर फाइटिंग सहित अन्य बुनियादी सुविधा उपलब्ध कराने का.
वरीय संवाददाता, रांचीझारखंड हाइकोर्ट ने देवघर एम्स में बुनियादी सुविधा उपलब्ध कराने को लेकर गोड्डा के सांसद डॉ निशिकांत दुबे की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. चीफ जस्टिस तरलोक सिंह चौहान व जस्टिस राजेश शंकर की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई के दौरान पक्ष सुनने के बाद राज्य सरकार को एम्स की ओर से दायर शपथ पत्र पर बिंदुवार जवाब दायर करने का निर्देश दिया. खंडपीठ ने माैखिक रूप से कहा कि झारखंड में काफी जंगल है. ग्रामीण क्षेत्रों में सांपों का खतरा भी रहता है. सांप काटने से बचाव के लिए राज्य में क्या-क्या उपाय किये गये हैं. राज्य के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, आयुष्यमान आरोग्य मंदिर सहित सदर अस्पतालों में एंटी वेनम वैक्सीन उपलब्ध रहना आवश्यक है. अस्पतालों में यह वैक्सीन उपलब्ध है या नहीं, इस संबंध में सरकार को शपथ पत्र दायर करने का निर्देश दिया. मामले की अगली सुनवाई के लिए खंडपीठ ने 23 सितंबर की तिथि निर्धारित की. इससे पूर्व एम्स की ओर से शपथ पत्र दायर किया गया. एम्स के अधिवक्ता प्रशांत पल्लव की ओर से खंडपीठ को बताया गया कि एम्स कर्मियों के बच्चों की शिक्षा के लिए केंद्रीय विद्यालय की स्थापना होनी है, इसके लिये जमीन दी जानी थी, लेकिन वह नहीं मिल पायी है. बहुमंजिला फायर फाइटिंग मशीनरी भी नहीं मिली है. यह भी बताया गया कि एम्स में बर्न वार्ड में 30 बेड की व्यवस्था है. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी गोड्डा के सांसद डॉ निशिकांत दुबे ने जनहित याचिका दायर की है. उन्होंने कहा है कि एम्स देवघर में बुनियादी सुविधाओं की कमी है. उनकी ओर से एम्स के लिए पर्याप्त बिजली, पानी, पहुंच पथ, फायर ब्रिगेड वाहन आदि की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए सरकार को उचित आदेश देने की मांग की गयी है.
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