17.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

कमजोर साबित हुआ पतरातू सर्किल का पुलिसिया तंत्र

कमजोर साबित हुआ पतरातू सर्किल का पुलिसिया तंत्र लगातार हो रही है घटनाएं, नहीं मिल रही पुलिस को सफलता सर्किल के पांचों थाना भुरकुंडा, पतरातू, बासल, भदानीनगर, बरकाकाना में प्रभारियों की जल्द हो जाता है ट्रांसफर एकीकृत हजारीबाग के समय से ही पतरातू सर्किल क्षेत्र को अतिसंवेदनशील माना जाता रहा है पतरातू. रामगढ़ जिला पुलिस […]

कमजोर साबित हुआ पतरातू सर्किल का पुलिसिया तंत्र लगातार हो रही है घटनाएं, नहीं मिल रही पुलिस को सफलता सर्किल के पांचों थाना भुरकुंडा, पतरातू, बासल, भदानीनगर, बरकाकाना में प्रभारियों की जल्द हो जाता है ट्रांसफर एकीकृत हजारीबाग के समय से ही पतरातू सर्किल क्षेत्र को अतिसंवेदनशील माना जाता रहा है पतरातू. रामगढ़ जिला पुलिस का पतरातू सर्किल अपराध व अपराधियों पर अंकुश लगाने में पूरी तरह विफल साबित हो रहा है. इस क्षेत्र में लगातार आपराधिक घटनाएं हो रही है. इसे रोकने में तो यहां की पुलिस नाकाम हो ही रही है. घटनाओं का उदभेदन भी नहीं हो पा रहा है. पतरातू सर्किल क्षेत्र उद्योग प्रधान क्षेत्र है. बावजूद इसके पुलिस इस मामले पर गंभीर नहीं दिखती है. इसके कई प्रमाण हैं. पुलिस की यह सुस्त कार्यशैली आम जनों में भी चर्चित होने लगी है. लोग सर्किल के बाबत पुलिस कप्तान की कार्यशैली पर भी सवाल उठाने लगे हैं. पुलिस कप्तान ने विगत तीन-चार महीनों में इस सर्किल के पांचों थाना भुरकुंडा, पतरातू, बासल, भदानीनगर, बरकाकाना में प्रभारियों की खूब ट्रांसफर-पोस्टिंग की है. अकेले पतरातू थाना ने तीन-चार माह के अंदर चार प्रभारियों को देखा है. इसी तरह भुरकुंडा व भदानीनगर थाना में तीन-तीन प्रभारी बदले गये. बासल व बरकाकाना का भी यही हाल रहा है. वर्तमान में भदानीनगर व बासल थाने में महिला पुलिस पदाधिकारी है. वहीं पतरातू सर्किल में वर्तमान समय में इंस्पेक्टर का पद खाली है. जबकि एकीकृत हजारीबाग के समय से पतरातू सर्किल क्षेत्र को अतिसंवेदनशील माना जाता रहा है. अपराध व अपराधियों समेत उग्रवादियों पर लगाम कसने के लिए हमेशा से यहां के थानों में तेज-तर्रार पुलिस पदाधिकारियों की पोस्टिंग होती आयी थी. इन पुलिस पदाधिकारियों का कार्यकाल भी दो-तीन वर्षों का होता था. इस दौरान वे क्षेत्र को भलीभांति समझ जाते थे. जिससे अपराध पर उनका नियंत्रण रहता था. वर्तमान पुलिसिया कार्य पद्धति के तहत महज एक-दो महीने में थाना प्रभारियों की बदली के कारण भी अपराधी बेलगाम हुए हैं.खुफिया विभाग के इनपुट पर नहीं हो पाती समय से कार्रवाईपुलिस पदाधिकारियों की अस्थिरता के कारण इन थानों में खुफिया विभाग की इनपुट रिपोर्ट पर काम नहीं हो पाता है. इस क्षेत्र से खुफिया विभाग लगातार मुख्यालय को अपराध जगत की गतिविधियों की सूचनाएं पहुंचाते रहती है. जो नियमानुसार संबंधित थाने को रेफर किया जाता है. नाम नहीं छापने की शर्त पर एक पुलिस पदाधिकारी ने बताया कि जब तक वे लोग खुफिया विभाग की रिपोर्ट पर कार्रवाई की तैयारी करते हैं, उनका तबादला हो जाता है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें