जितेंद्र सिंह, गढ़वा गढ़वा शहर में हर वर्ष बारिश के मौसम में जलजमाव बड़ी समस्या बनकर सामने आता है. शहर में सीवरेज और ड्रेनेज व्यवस्था के अभाव में नालियों का पानी सड़कों और घरों में भर जाता है, जिससे जनजीवन प्रभावित होता है. नगर परिषद का गठन वर्ष 2008 में हुआ था, लेकिन 17 साल बीत जाने के बावजूद सीवरेज की मूलभूत व्यवस्था अब तक नहीं बन सकी है.
गढ़वा-चिनिया सड़क चौड़ीकरण कार्य एक वर्ष पूर्व शुरू हुआ था, लेकिन अब तक पूरा नहीं हो पाया है. चिनिया रोड पर कालीकरण और नाली निर्माण का कार्य अधूरा पड़ा है. अधूरी नालियों के कारण बारिश का पानी घरों और सड़कों पर भर जाता है, जिससे आवागमन बाधित हो जाता है.
स्थानीय लोग जता रहे नाराजगीचिनिया रोड निवासी दवा व्यवसायी संजय ठाकुर ने कहा, नाली अधूरी बनी है और जहां बनी हैशिव मंदिर के पीछे बारिश के बाद घुटनों तक पानी भर जाता है, जिससे खासकर स्कूल जानेवाले बच्चों को काफी परेशानी होती है.
उमाशंकर ठाकुर उर्फ पप्पू ने नाराजगी जताते हुए कहा, संवेदक की घोर लापरवाही है। नाली के किनारे चार से पांच फीट तक गड्ढे हैं, जिससे बच्चों के गिरने का खतरा है। लापरवाही करने वालों पर प्राथमिकी दर्ज होनी चाहिए.
नगर परिषद पर उठ रहे सवालस्थानीय निवासी रजनीकांत मिश्रा ने कहा, न तो सड़क और न ही नाली का कार्य पूरा हुआ है नगर परिषद प्रबंधन को इस पर तत्काल ध्यान देना चाहिए.
17 सालों में नहीं बदली सूरतगढ़वा नगर परिषद को गठित हुए 17 साल हो चुके हैं. इस दौरान नगर विकास विभाग ने अरबों रुपये फंड में दिए, ताकि शहर की मूलभूत समस्याओं को दूर किया जा सके. लेकिन सीवरेज और ड्रेनेज व्यवस्था अब भी अधूरी है. यदि समय रहते इस ओर ध्यान दिया गया होता, तो आज शहर के लोग बारिश में इतने परेशान नहीं होते.
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