– जितेंद्र सिंह –
गढ़वा : जुलाई महीना बीत गया. लेकिन अभी तक गढ़वा जिले में इतनी बारिश नहीं हुई कि यहां धान का आच्छादन किया जा सके. फसलों के आच्छादन के लिए जरूरी बारिश नहीं होने से सूखे की आशंका ने किसानों की बेचैनी बढ़ा दी है. धान के साथ भदई फसल का भी आच्छादन लक्ष्य के अनुरूप नहीं होना किसानों पर दोहरी मार है.
26 जुलाई को हुई 61 मिमी बारिश ने सूख रहे बिचड़ों के लिए अमृत का काम किया है, लेकिन धान के आच्छादन के लिए इतनी बारिश से कुछ लाभ नहीं हुआ है.
जून में 108.4 व जुलाई में 161 मिमी वर्षापात: इस वर्ष जून माह में कुल 108.4 मिमी वर्षापात रिकॉर्ड की गयी है. इसमें पांच जून को 11. 5 मिमी, आठ जून को पांच मिमी, नौ जून को 8.2 मिमी, 14 को 20.2, 25 को 30 मिमी, 26 को छह मिमी तथा जून को 26.8 मिमी कुल 108 मिमी वर्षा रिकार्ड की गयी है. इसी तरह जुलाई माह में आठ जुलाई को 30 मिमी, नौ को 20 मिमी, 26 को 61 मिमी तथा 30 जुलाई को 10.5 मिमी, कुल 122 मिमी वर्षा रिकार्ड की गयी है.
धान के आच्छादन का लक्ष्य 54 हजार हेक्टेयर: जिले में कृषि विभाग द्वारा धान के अच्छादन के लिए 54 हजार हेक्टेयर का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसके विरुद्ध अब तक मात्र 50 हेक्टेयर में छींटा धान का आच्छादन ही हो पाया है.
भदई, तेलहन व दलहन भी लक्ष्य से दूर: जिले में भदई फसल भी लक्ष्य से काफी दूर है. कृषि विभाग द्वारा निर्धारित लक्ष्य के अनुसार मक्का के लिए 26640 हेक्टेयर के विरुद्ध 18120 हेक्टेयर (68 प्रतिशत), दलहन में 37987 हेक्टेयर के विरुद्ध 17100 (45 प्रतिशत) तथा तेलहन में 4624 हेक्टेयर के विरुद्ध 1850 हेक्टेयर में ही (40 प्रतिशत) अच्छादन हो सका है.