संवाददाता, पटना
नगर विकास एवं आवास विभाग ने पटना महानगर आयोजना क्षेत्र में प्रोजेक्ट लगाने वाले लोगों को बड़ी राहत दी है. इसके तहत महानगर क्षेत्र में नक्शे की मंजूरी के समय लिये जाने वाले आधारभूत संरचना शुल्क अब पांच किश्तों में जमा कराया जा सकेगा. 4000 वर्गमीटर एवं उससे कम भूखंड पर लगाये जाने वाले प्रोजेक्ट के मामले में पांच किश्त दो साल के अंदर जबकि 4000 वर्गमीटर से अधिक भूखंड पर लगने वाले प्रोजेक्ट के मामले में इस राशि को जमा करने के लिए अधिकतम चार वर्ष का समय मिलेगा. विभाग ने इससे संबंधित अधिसूचना जारी कर दी है. यह आदेश 22 अगस्त 2023 के बाद स्वीकृत सभी परियोजनाओं के लिए मान्य होगा. मालूम हो कि महानगर क्षेत्र प्राधिकार प्रोजेक्ट की कुल राशि का एक फीसदी आधारभूत संरचना विकास शुल्क के तौर पर लेता है.
विभाग के अपर सचिव सह प्राधिकार के सीइओ राजीव कुमार श्रीवास्तव द्वारा जारी आदेश के मुताबिक किश्त में आधारभूत संरचना शुल्क जमा कराने की स्थिति में पहली किश्त (20 फीसदी) और शुल्क राशि का पांच फीसदी बैंक गारंटी के तौर पर जमा होगा. आवेदक द्वारा ससमय किश्त जमा जमा नहीं करने पर अधिकतम एक माह का समय देते हुए उसके बाद बैंक गारंटी की राशि को जब्त कर लिया जायेगा और नक्शा अस्वीकृत करने की कार्रवाई की जायेगी. प्रोजेक्ट की समयावधि या ऑक्सीयूपेंसी सर्टिफिकेट लिए जाने के पूर्व शुल्क की सभी किश्त जमा कराना अनिवार्य होगा. 22 अगस्त 2023 से पहले की परियोजनाओं के मामले में रि-वैलिडेशन हेतु प्राप्त आवेदनों पर आधारभूत संरचना विकास शुल्क नहीं लिया जायेगा. रिवीजन हेतु प्राप्त आवेदनों पर पूर्व में स्वीकृत बिल्ट अप एरिया के अतिरिक्त बिल्ट अप एरिया पर शुल्क लिया जायेगा. सिर्फ ऑक्यूपेंसी सर्टिफिकेट के लिए प्राप्त आवेदनों पर आधारभूत संरचना विकास शुल्क नहीं लिया जायेगा.
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