संवाददाता, पटना : पटना औषधि नियंत्रण प्रशासन (ड्रग विभाग) की छापेमारी में एक घर से करीब 10 से 12 लाख रुपये की नकली दवाइयां बरामद की गयी हैं. सभी दवाइयां अलग-अलग कंपनी की महत्वपूर्ण एंटीबायटिक के नाम पर हैं. यह छापेमारी पटना जिले के औषधि नियंत्रक प्रशासक चुनेंद्र महतो की देखरेख में की गयी. जानकारी के अनुसार गुप्त सूचना के आधार पर बहादुरपुर थाने के वाचस्पति नगर इलाके के एक घर में यह छापेमारी गुरुवार की दोपहर गयी. ड्रग विभाग के अनुसार यह घर मिथिलेश कुमार का है. मिथिलेश के दोनों बेटे मनीष कुमार सिंह और दीपक कुमार सिंह मिल कर अवैध कारोबार करते थे. छापेमारी दल का नेतृत्व उप औषधि नियंत्रक राकेश नंदन सिंह कर रहे थे. टीम में ड्रग इंस्पेक्टर राकेश कुमार सिन्हा, पंकज कुमार, यशवंत कुमार झा, एडीसी चुनेंद्र महतो, श्वेता रानी और अमल कुमार शामिल थे.
2500 से अधिक खुली गोलियां मिलीं
छापेमारी में शामिल डीआइ यशवंत कुमार झा और पंकज कुमार ने बताया कि छापेमारी में सैकड़ों पैकेट दवाइयों के अलावा 2500 से अधिक खुली गोलियां और कई प्रकार के एंटीबायटिक की लगभग ढाई बोरी स्ट्रिप्स मिले हैं. इसके अलावा पैकिंग संबंधी उपकरण भी बरामद किये गये हैं. बताया कि मकान मालिक मिथिलेश कुमार सिंह और उनके दोनों पुत्र मनीष कुमार सिंह, दीपक कुमार सिंह घर में नहीं मिले. प्राथमिक जांच में सभी दवाइयां नकली पायी गयीं. बार कोड से मिलान करने पर बाजार में मिली दवाइयों के बारे में सभी जानकारी मालूम हो गयी, लेकिन यहां जब्त स्ट्रिप्स के बार कोड से कोई जानकारी नहीं मिली. बताया कि राज्य औषधि नियंत्रक को फोन पर नकली दवाइयों के कारोबार से संबंधित शिकायत किसी ने दी थी. जब्त दवाइयों में जीएसके की आउगमेंटिन, एलेन का टैक्सिम ओ, मैक्लोइड का ट्रेनेक्शा आदि शामिल हैं.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है