पटना : पटना हाइकोर्ट में सोमवार को उस समय विचित्र स्थिति उत्पन्न हो गयी, जब न्यायाधीश ए अमानुल्लाह की अदालत में पटना की डीएसपी विधि-व्यवस्था ममता कल्याणी रो पड़ीं. कोर्ट ने अवमानना के एक मामले में दोषी मानते हुए उन्हें बेऊर जेल भेजने का आदेश दिया.
हालांकि सरकारी वकील के अनुरोध पर कोर्ट ने डीएसपी को जेल भेजने का आदेश वापस ले लिया,लेकिन अवमानना के मामले में दोषी मानते हुए कहा कि डीएसपी को सजा जरूर मिलेगी. मामले की अगली सुनवाई 14 अक्तूबर को होगी. इस दिन डीएसपी को केस डायरी लाने के लिए कहा गया है.
* केस डायरी उपलब्ध नहीं कराने का आरोप : कोर्ट का आदेश होते ही डीएसपी रोने लगीं. कोर्ट ने कहा कि वह लगातार झूठ बोल रही हैं. कोतवाली थाने के गैंग रेप संबंधित केस संख्या 185/2011 में शंकर राउत नामक अपराधी की याचिका की सुनवाई के दौरान यह वाकया सामने आया. वरीय आरक्षी अधीक्षक के चार बार निर्देश के बावजूद कोतवाली थाने की डीएसपी ममता कल्याण ने केस डायरी कोर्ट को उपलब्ध नहीं करायी.
इसी बात को लेकर नाराज कोर्ट ने उन्हें एक सप्ताह के लिए जेल भेजने का आदेश दिया था. सरकारी वकील को निर्देश की जानकारी मिली, तो वह दौड़े-दौड़े कोर्ट आये. उन्होंने क्षमा मांगते हुए कोर्ट से फैसले पर पुनर्विचार का आग्रह किया. पहले तो कोर्ट कुछ भी सुनने को तैयार नहीं हुआ,लेकिन सरकारी वकील के आग्रह पर न्यायाधीश ने कहा भोजनावकाश के बाद सुनेंगे.
सुनवाई शुरू हुई,तो डीएसपी पुन: कोर्ट से क्षमा मांगते नजर आयी. उन्होंने कोर्ट से कहा कि अब ऐसा नहीं होगा. कोर्ट ने कहा आप बार-बार झूठ बोलती हैं. पिछली बार भी ऐसा ही कहा था. कोर्ट ने कहा कि आप वरीय अधिकारियों का आदेश भी नहीं मानती. कोर्ट ने कहा, लोग यहां आ कर सच बोलते हैं, लेकिन डीएसपी यहां आ कर बार-बार झूठ बोल रही हैं.