बिहारशरीफ : जिला न्यायालय में हत्या करने का साक्ष्य सही पाते हुए षष्ठम एडीजे इशरतुल्ला ने मामले के तीन आरोपियों बैकुंठ, रंजीत व सुधीर सिंह को दोषी करार दिया. इन सभी आरोपियों को अभियोजन पक्ष से सत्र परिवाद संख्या 841/06 के विचारण के दौरान एपीपी किशोरी प्रसाद व अधिवक्ता कुमार नरेंद्र के कुल आठ साक्षियों के परीक्षण व बहसोपरांत भादस की धारा 302 व 27 आर्म्स एक्ट निर्धारण पर फैसला शनिवार 14 मई को किया जायेगा.
सभी आरोपित गिरियक थाना क्षेत्र के मरकट्टा व प्यारेपुर ग्राम वासी है. जबकि पीड़ित संजय कुमार गोरावां पंचायत तथा आरोपित बैकुंठ सिंह प्यारेपुर पंचायत के तत्कालीन मुखिया थे. इन दोनों के बीच पुरानी दुश्मनी थी. घटना के दिन 13 नवंबर 2002 को पीड़ित सूचक विद्यानंद प्रसाद और विरेश प्रसाद के साथ बिहारशरीफ के टाउन हॉल से मीटिंग में भाग लेकर पांच बजे शाम में वापस लौट रहा था.
गिरियक थाना क्षेत्र के करमपुर मुसहरी के सामने एनएच 31 पर पहुंचते ही एक सुमो गाड़ी से ओवरटेक कर मोटरसाइकिल रोक दी. आरोपित बैकुंठ सिंह के आदेश पर अंधाधुंध गोलीबारी हुई, जिसमें पीड़ित की घटनास्थल पर ही मौत हो गयी तथा विरेश प्रसाद गोली लगने से जख्मी हो गया.