गया. विश्वस्तर पर मान्यता प्राप्त प्रसिद्ध कैंसर बायोलॉजिस्ट, टेक्सास ए एंड एम यूनिवर्सिटी, यूएसए के कॉलेज ऑफ मेडिसिन के प्रोफेसर जियानक्सुन (जिम) सोंग ने एसइबीइएस व्याख्यान शृंखला के एक भाग के रूप में दक्षिण बिहार केंद्रीय विश्वविद्यालय (सीयूएसबी) में अतिथि व्याख्यान दिया. कुलपति प्रो कामेश्वर नाथ सिंह की देखरेख में सीयूएसबी के स्कूल ऑफ अर्थ, बायोलॉजिकल एंड एनवायरनमेंटल साइंसेज (एसइबीइएस) द्वारा आयोजित व्याख्यान में प्रोफेसर सोंग ने ””मॉडुलेशन ऑफ इम्यून रेस्पॉन्सेस बाय मेटाबोलिक रिप्रोग्रामिंग”” पर व्याख्यान दिया. व्याख्यान में विशिष्ठ अतिथि के रूप में वास्तु विहार बायोटेक प्राइवेट लिमिटेड, बोधगया के सीएमडी विनय कुमार तिवारी, एसइबीइएस के डीन प्रोफेसर रिजवानुल हक के साथ विभिन्न विभागों के संकाय सदस्य, शोधार्थी और छात्र उपस्थित थे.आर एल ब्रिकर एंडोव्ड प्रोफेसर इन कैंसर इम्यूनोलॉजी, माइक्रोबियल पैथोजेनेसिस एंड इम्यूनोलॉजी, कॉलेज ऑफ मेडिसिन, टेक्सास ए एंड एम यूनिवर्सिटी, यूएसए के प्रो जियानक्सुन (जिम) सोंग, ने विस्तार से बताया कि कैसे मेटाबॉलिक रीप्रोग्रामिंग बीमारियों से लड़ने के लिए प्रतिरक्षा प्रतिक्रियाओं को फिर से आकार दे सकती है और बढ़ा सकती है. उन्होंने बताया कि कम प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया से संक्रमण और कैंसर हो सकता है, जबकि अत्यधिक प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया से एलर्जी और ऑटोइम्यून रोग हो सकते हैं. इसलिए संतुलित प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया बनाये रखना महत्वपूर्ण है. वास्तु विहार बायोटेक प्राइवेट लिमिटेड में चल रहे शोध के बारे में दी जानकारी सीयूएसबी के पीआरओ मोहम्मद मुदस्सीर आलम ने बताया कि इससे पहले कार्यक्रम की शुरुआत में प्रो रिजवानुल हक ने अतिथि वक्ता, गणमान्य व्यक्तियों और सभागार में दर्शकों का स्वागत किया. प्रो रिजवानुल हक, जो स्वयं एक इम्यूनोलॉजिस्ट हैं, उन्होंने प्रतिरक्षा विज्ञान में अनुसंधान के महत्व और आधुनिक चिकित्सा और स्वास्थ्य सेवा में इसकी भूमिका के बारे में बात की. विनय कुमार तिवारी ने अपने संक्षिप्त भाषण में वास्तु विहार बायोटेक प्राइवेट लिमिटेड में चल रहे शोध के बारे में साझा किया. कार्यक्रम का समापन आयोजन सचिव डॉ अमृता श्रीवास्तव के धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ.
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