गंगा के बढ़ते जलस्तर ने प्रखंड की कई पंचायतों में बाढ़ का संकट गहरा दिया है. तिलकपुर, गनगनियां, महेशी, इंग्लिस चिचरौन, अकबरनगर, खैरेहिया और किसनपुर गंगा किनारे बसे पंचायतों में बाढ़ का पानी तेजी से फैलता जा रहा है. इन इलाकों के खेत-खलिहान, घर-आंगन और सड़क सब जलमग्न हो चुके हैं. लगातार तीसरे-चौथे दिन गंगा का जलस्तर बढ़ने से गांवों में अफरा-तफरी की स्थिति है. कई ग्रामीण अपने घरों को छोड़ कर ऊंचे स्थानों पर जाने की तैयारी में हैं. जहां एक ओर मवेशी सड़क पर आ गये हैं, वहीं चारे की भारी किल्लत से पशुपालक परेशान हैं. ग्रामीणों का कहना है कि यदि जलस्तर में जल्द कमी नहीं आयी, तो स्थिति और भयावह हो सकती है. लोगों के सामने आवास और भोजन की गंभीर समस्या खड़ी हो गयी है. बेघर हो चुके लोग सुरक्षित स्थानों की ओर पलायन कर रहे हैं. स्थानीय प्रशासन की ओर से अब तक कोई ठोस राहत या बचाव कार्य शुरू नहीं हो सका है, जिससे लोगों में नाराजगी है. ग्रामीणों ने सरकार से त्वरित राहत व पुनर्वास की मांग की है. कल्याणपुर मे दो सौ परिवार बाढ़ से पीड़ित है. बाढ़ में फंसे लोग गांव से निकलने का इंतजार कर रहे. गुरुवार को एक स्थानीय डाॅक्टर को लोगों ने नाव से गांव लाया, उन्होंने कुछ लोगों का इलाज किया. गांव के बगल में एक स्कूल है, उसमे पानी भरा है. छोटा नाव टिन का है जिस पर सवार होकर लोग आना-जाना कर रहे हैं. प्रशासन से अविलंब राहत की गुहार लगायी.
बाढ़ से पशुपालकों की बढ़ी परेशानी, पलायन को मजबूर
गंगा के जलस्तर में वृद्धि से कहलगांव गंगा घाट, सती घाट, सीढ़ी घाट, बटेश्वर स्थान,रानी दियारा कुटी टोला, तोफिल, अनठावन आदि कई जगहों के निवासी चिंतित हैं. दियारा क्षेत्र के निचले इलाके में बसे घर जलमग्न होने वाले हैं. खेतों में लगी फसलें तथा पशुओं का चारा डूब गया है. पशुओं की स्थिति गंभीर है, चारे की कमी और रहने की समस्या से पशुपालक पशुओं के साथ ऊंचे स्थान की ओर पलायन कर टिकर के तरफ पहुंच पशुओं के लिए चारे की जुगाड़ कर रहे है. पलायन कर रहे पशुपालक ने बताया कि आदमी त मांगियो के खाय लेतो माल अ सनी की खैतो एकरा मुहो ने छिको की मांगी ले तो. विगत दिनों गंगा के जलस्तर में कमी से दियारावासियों ने राहत की सांस ली थी, लेकिन एक बार फिर से गंगा के जलस्तर में वृद्धि से बाढ़ प्रभावित क्षेत्र के लोगों की नींद हराम हो गयी है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

