नयी दिल्ली : छह बार की विश्व चैम्पियन एमसी मेरीकॉम ने गुरुवार को कहा कि उनकी योजना तोक्यो ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीतने के बाद संन्यास लेने की है.
भारतीय मुक्केबाजी में 18 साल के लंबे करियर के दौरान छत्तीस वर्षीय मेरीकॉम ने छह विश्व चैम्पियनशिप जीती हैं और एक ओलंपिक कांस्य पदक हासिल किया है. इसके अलावा पांच एशियाई चैम्पियनशिप भी अपने नाम कर चुकी हैं. वह राज्य सभा सदस्य भी हैं.मेरीकॉम ने यहां कोलगेट द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम के मौके पर कहा, 2020 के बाद मैं संन्यास लेना चाहती हूं. इसलिये मेरा मुख्य लक्ष्य भारत के लिये स्वर्ण पदक जीतना है. मैं सचमुच स्वर्ण पदक जीतना चाहती हूं.उन्होंने कहा, मैं हमेशा अपने देश को पदक दिलाने के लिये अपना सर्वश्रेष्ठ कोशिश करती हूं. मैं ओलंपिक क्वालीफायर और विश्व चैम्पियनशिप के लिये अपनी तैयारियां शुरू करुंगी.
मैं इस बार स्वर्ण पदक जीतना चाहती हूं.अगले साल होने वाले ओलंपिक से पहले मुक्केबाजी जगत को काफी परेशानियों से जूझना पड़ रहा है. अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति ने अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाजी संघ (एआईबीए) को तोक्यो ओलंपिक में स्पर्धओं की मेजबानी से रोक दिया है.आईओसी ने घोषणा की कि वह अगले साल जनवरी और मई के बीच में ओलंपिक क्वालीफायर के लिये नया कैलेंडर तैयार करेगा और यह शायद वजन वर्गों पर भी दोबारा विचार कर सकता है.
भारतीय मुक्केबाज दुविधा में फंसे हैं, लेकिन मेरीकाम को लगता है कि अगर क्वालीफायर अगले साल कराये जाते हैं तो यह उनके लिये फायदेमंद होगा. उन्होंने कहा, यह मेरे लिये अच्छा होगा क्योंकि मुझे तैयारी के लिये और समय मिल जायेगा.उन्होंने कहा, हम ओलंपिक ही नहीं सभी प्रतियोगिताओं के लिये नियमित रूप से ट्रेनिंग कर रहे हैं. विश्व चैम्पियनशिप में मुझे प्रतिद्वंद्वियों को जानने का मौका मिलेगा कि उनकी ताकत और कमजोरी क्या है. इसी के अनुसार मैं तैयारी कर सकती हूं.
अगर क्वालीफायर बाद में किये जाते हैं तो मुझे तैयारी के लिये अतिरिक्त समय मिल जायेगा. रियो ओलंपिक के लिये क्वालीफाई करने में असफल होने के बाद मेरीकॉम ने दिसंबर 2016 में अपना वजन वर्ग 48 किग्रा कर लिया, लेकिन मणिपुर की यह मुक्केबाज फिर से किग्रा में भाग ले रही हैं.
मेरीकॉम ने इसके बारे में पूछने पर कहा, 51 किग्रा वर्ग मेरे लिये नया नहीं है. मैं इस वर्ग में 4-5 वर्षों से खेल रही हूं. यह लगातार नहीं हुआ क्योंकि मैं अपना वजन वर्ग बदलती रही.