Gujarat CM Oath Ceremony: भूपेंद्र पटेल गुजरात के 18वें मुख्यमंत्री के रूप में लगातार दूसरे कार्यकाल के लिए शपथ ग्रहण किया. राज्यपाल आचार्य देवव्रत दोपहर 2 बजे अहमदाबाद में नए सचिवालय परिसर के अंदर हेलीपैड मैदान में शपथ दिलाई. पटेल को मंत्रियों की एक कैबिनेट द्वारा सहायता प्रदान की जाएगी, जिनमें से कम से कम 17 को आज शपथ दिलाई जा सकती है. इस समारोह में भारतीय जनता पार्टी के शीर्ष नेता शामिल हुए, जिनमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और कई अन्य भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्री शामिल है. मीडिया रिपोर्टों से संकेत मिलता है कि 200 से अधिक पवित्र पुरुष भी भाग लिया.
साथ ही इन मंत्रियों ने ली शपथ
कैबिनेट मंत्री पद की शपथ
1- कनुभाई देसाई 2- ऋषिकेश पटेल 3- राघवजी पटेल 4- बलवंत सिंह राजपूत 5- कुंवरजी बावलिया 6- मुलुभाई बेरा 7- भानुबेन बाबरियाठ 8- कुबेर डिडोर.
राज्यमंत्री पद की शपथ
9- हर्ष सांघवी 10- जगदीश विश्वकर्मा 11- मुकेश पटेल 12- पुरुषोत्तम सोलंकी 13- बच्चू भाई खाबड़ 14- प्रफुल्ल पानसेरिया 15- भीखू सिंह परमार 16- कुंवरजी हलपति
विधानसभा चुनाव में 182 में से 156 सीटें जीतकर शानदार जीत दर्ज की
जानकारी हो कि भारतीय जनता पार्टी ने विधानसभा चुनाव में 182 में से 156 सीटें जीतकर शानदार जीत दर्ज की. प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस और आम आदमी पार्टी - एक कड़ी परीक्षा देने की उम्मीद - ऐसा करने में विफल रही, क्रमशः केवल 16 और पांच सीटों पर जीत हासिल की. शपथ ग्रहण समारोह से पहले भाजपा विधायक हार्दिक पटेल ने कहा, "मैं बहुत युवा विधायक हूं. मैं केवल पार्टी के लिए काम करने में विश्वास करता हूं. भाजपा तय करेगी कि वे मंत्रिमंडल में किसे रखना चाहते हैं. मैं खुशी-खुशी जो भी जिम्मेदारी पार्टी मुझे देने का फैसला करती है स्वीकार करूंगा."
इन नामों की चर्चा तेज, दो महिलाएं भी है शामिल
बात अगर अबतक के चर्चित नामों की करें तो आदिवासी नेताओं में गणपत वासावा, नरेश पटेल, जीतू चौधरी, पीसी बरांडा (पूर्व आईपीएस), कुबेर डिंडोर और दर्शना देशमुख, वहीं SC समाज से रमनलाल वोरा को जगह मिलने की उम्मीद थी. बात अगर पाटीदार की करें तो ऋषिकेश पटेल, राघवजी पटेल, वीनू मोरडिया, जयेश रादडिया अभी सबसे अधिक चर्चा में थे. लेकिन वहीं, हार्दिक पटेल को मंत्रालय मिलने की संभावना पहले से ही ना के बराबर ही थी. वहीं, ओबीसी चेहरों में अल्पेश ठाकोर, पुरुषोत्तम सोलंकी या उनके भाई हीरा सोलंकी, कुंवरजी बावलिया, जगदीश विश्वकर्मा, शंकर चौधरी और जैन समुदाय से हर्ष संधवी का नाम सबसे अधिक चर्चा में बना हुआ था. इसके अलावा, एक से दो महिलाओं को भी मंत्रिमंडल में जगह मिलने की उम्मीद थी. इनमें पायल कुकरानी या मनीषा वकील का नाम चर्चा में है. लेकिन इनमें से कई नेताओं को निराशा हाथ लगी.