34.1 C
Ranchi
Friday, March 29, 2024

BREAKING NEWS

Trending Tags:

सावधान : हैकरों के निशाने पर हैं सबसे बड़े बैंक SBI के ग्राहक, भेजा जा रहा फर्जी मैसेज

Fake message to SBI customers : हैकर्स ने एसबीआई ग्राहकों को जो टेक्स्ट मैसेज भेजते हैं, उसमें एक लिंक भी दिया हुआ है जिस पर क्लिक करने के लिए कहा जाता है. इस लिंक को क्लिक करते ही एक फर्जी वेबसाइट खुलती है, जहां स्टेट बैंक ऑफ इंडिया फिल योर डिटेल्स फॉर्म का विकल्प रहता है.

  • एसबीआई के ग्राहकों को हैकरों ने फिशिंग स्कैम के तहत बनाया निशाना

  • एसबीआई ग्राहकों को एसएमएस के जरिए टेक्स्ट मैसेज भेजते हैकर्स

  • एसबीआई क्रेडिट पॉइंट को रिडीम करने का किया जाता है अनुरोध

Fake message to SBI customers : देश के सबसे बड़े बैंक एसबीआई के ग्राहक इन दिनों हैकरों के निशाने पर हैं. एसबीआई के कई ग्राहकों को इन हैकरों ने फिशिंग स्कैम के तहत निशाना बनाया है. हैकरों ने कई ग्राहकों को संदिग्ध टेक्स्ट मैसेज भेजकर उनसे 9,870 रुपये के एसबीआई क्रेडिट पॉइंट को रिडीम (भुनाने ) का अनुरोध किया है.

मांगी जाती है गोपनीय जानकारी

बिजनेस स्टैंडर्ड में छपी खबर के अनुसार, हैकर्स ने एसबीआई ग्राहकों को जो टेक्स्ट मैसेज भेजते हैं, उसमें एक लिंक भी दिया हुआ है जिस पर क्लिक करने के लिए कहा जाता है. इस लिंक को क्लिक करते ही एक फर्जी वेबसाइट खुलती है, जहां स्टेट बैंक ऑफ इंडिया फिल योर डिटेल्स फॉर्म का विकल्प रहता है. इसे भरने के लिए ग्राहकों को कहा जाता है. इसमें संवेदनशील फाइनेंशियल डिटेल जैसे कार्ड नंबर, एक्पायरी डेट, सीवीवी और एमपिन शेयर करने के लिए कहा जाता है.

क्या कहते हैं एक्सपर्ट

नई दिल्ली स्थित थिंक टैंक साइबरपीस फाउंडेशन और ऑटोबोट इंफोसेक प्राइवेट लिमिटेड की संयुक्त जांच के अनुसार, वेबसाइट बिना किसी वेरीफिकेशन के डेटा कलेक्ट कर लेती है और एसबीआई के किसी रजिस्टर्ड अधिकारी के बजाय किसी थर्ड पार्टी के जरिए रजिस्ट्रेशन किया जाता है. लिहाजा, यह पूरी प्रकिया संदिग्ध बन जाती है.

एसबीआई एसएमएस या ईमेल से नहीं करता संपर्क

इसके अलावा फाउंडेशन ने कहा है कि एसबीआई कभी भी अपने ग्राहकों से एसएमएस या ईमेल के जरिए संपर्क स्थापित नहीं करता, जिसमें ग्राहकों के खाते के संबंध में लिंक होते हैं. कोई भी रेपुटेड बैंकिंग सुरक्षा कारणों से अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर CMS technologies जैसे जैसे वर्डप्रेस का इस्तेमाल नहीं करती है.

भारत में ही हो सकता है डोमेन नेम का सोर्स

इस फर्जी वेबसाइट पर पर्सनल जानकारी जैसे नाम, रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर, ईमेल, ईमेल पासवर्ड और डेट ऑफ बर्थ मांगी जाती है. फॉर्म सब्मिट के बाद ग्राहकों को थैंक यू पेज पर रिडायरेक्ट किया जाता है. रिपोर्ट के अनुसार, वेबसाइट के डोमेन नेम का सोर्स भारत में ही हो सकता है और रजिस्ट्रेशन करने वाले का संबंध तमिलनाडु से हो सकता है.

Also Read: BigBasket में हैकर्स ने लगाई सेंध, साइबर क्राइम मार्केट में 2 करोड़ यूजर्स का डेटा डिटेल की हो रही बिक्री

Posted by : Vishwat Sen

You May Like

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

अन्य खबरें