Madagascar Emerald Found Presidential Palace: हिंद महासागर का द्वीपीय देश मेडागास्कर इन दिनों एक बड़े खुलासे की वजह से दुनिया के ध्यान में है. पिछले महीने सत्ता में आए अंतरिम राष्ट्रपति कर्नल माइकल रैंड्रियनिरिना ने राष्ट्रपति भवन, अंबोहित्सोरोहित्रा स्टेट पैलेस में 300 किलो वजन वाला एक विशाल पत्थर दिखाया, जिसमें चमकदार हरा पन्ना (एमरल्ड) एम्बेडेड था. यह पत्थर गहरे काले रंग का है और इसके भीतर हरे क्रिस्टल की चमकदार लकीरें दिखाई देती हैं. विशेषज्ञ इसे “एमरल्ड इन मैट्रिक्स” कह रहे हैं, यानी प्राकृतिक चट्टान के भीतर ही पन्ना बन गया है. अब इसकी जांच कर यह पता लगाया जाएगा कि इसमें कितना बड़ा और शुद्ध पन्ना है.
वायरल फोटो और अंतरराष्ट्रीय ध्यान
एक फोटो में यह विशाल एमरल्ड पत्थर दिखाई दे रहा है और उसके चारों ओर लोग खड़े हैं. यह तस्वीर अंतरराष्ट्रीय मीडिया में तेजी से वायरल हो गई और दुनिया भर में चर्चा का विषय बन गई. इतनी बड़ी और दुर्लभ एमरल्ड की खोज दुर्लभ होती है और इसके मूल्य और दुर्लभता ने लोगों की उत्सुकता बढ़ा दी है. मेडागास्कर की खनिज संपदा और रत्नों की धनी पहचान है, लेकिन किसी राज्य आवास में इस आकार की एमरल्ड का होना हैरान करने वाला है.
Madagascar Emerald Found Presidential Palace: विवाद और शंकाएं
रिपोर्ट्स के मुताबिक यह पत्थर पैलेस के स्टोरेज एरिया की आंतरिक जांच के दौरान मिला. अभी तक अधिकारियों ने यह स्पष्ट नहीं किया है कि यह पत्थर वहां कैसे आया. इस सवाल ने कई तरह के कयासों को जन्म दिया कि क्या यह किसी जब्त संपत्ति का हिस्सा था या कोई अनडिस्कोलोजड राज्य संपत्ति? मेडागास्कर में रत्न व्यापार अक्सर अवैध खनन, तस्करी और राजनीतिक जटिलताओं से प्रभावित रहा है, इसलिए इस पत्थर की मौजूदगी खास महत्व रखती है.
विशेषज्ञों का कहना है कि अगर इसकी पुष्टि होती है, तो यह पत्थर लाखों डॉलर में मूल्यवान हो सकता है, क्योंकि बड़े एमरल्ड बहुत ही दुर्लभ हैं. हालांकि मूल्य और कहां से आया यह जानने के लिए भूवैज्ञानिक मूल्यांकन जरूरी है. सरकार इस मामले पर जल्द ही ब्रीफिंग कर सकती है, लेकिन कोई निश्चित समय तय नहीं है. विपक्षी नेताओं ने पूरी पारदर्शिता की मांग की है. नागरिक यह जानने के हकदार हैं कि यह एमरल्ड राष्ट्रीय धरोहर का हिस्सा है या किसी सीक्रट सौदे का प्रमाण. इस घटना ने मेडागास्कर के खनन उद्योग और प्राकृतिक संसाधनों की सुरक्षा पर फिर से बहस शुरू कर दी है.
France Returns King Skulls: फ्रांस ने लौटाए थे साम्राज्यकालीन खोपड़ी
कुछ महीने पहले, फ्रांस ने मेडागास्कर को तीन खोपड़ियां लौटाईं, जिन्हें एक सदी से अधिक समय पहले ले जाया गया था. इनमें से एक खोपड़ी 19वीं सदी (128 साल बाद) के मलागासी राजा की मानी जाती है, जिसे फ्रांसीसी सैनिकों ने फांसी दी थी. यह प्रक्रिया फ्रांस की 2023 की उस कानून का हिस्सा है, जो किसी देश को मानव अवशेषों की वापसी की अनुमति देता है.
फ्रांस ने 1890 के दशक में मेडागास्कर के सकालावा लोगों के साम्राज्यों को जीतकर उन्हें अपने उपनिवेश में शामिल किया. लौटाई गई खोपड़ियों में से एक राजा तोएरा की मानी जाती है, जिन्हें 1897 में फ्रांसीसी सैनिकों ने मार दिया था. बाकी दो खोपड़ियां उन दो जनरलों की हैं, जिन्होंने राजा के साथ लड़ाई लड़ी थी. फ्रांस के नेशनल म्यूजियम ऑफ नेचुरल हिस्ट्री में यह खोपड़ियां संग्रहित थीं और अब उन्हें औपचारिक रूप से मेडागास्कर को सौंप दिया गया.
क्या था इसका सांस्कृतिक और भावनात्मक महत्व
मेडागास्कर के संस्कृति मंत्रालय के स्थायी सचिव फेट्रा राकोटोंद्रासोवा ने कहा था कि यह सिर्फ मानव अवशेषों की वापसी नहीं है, बल्कि हमारी इतिहास और स्मृति की वापसी है. अब हम इन अवशेषों का सम्मान कर सकेंगे जैसा होना चाहिए. कम्युनिकेशन और कल्चर मिनिस्टर वोलामिरांटी डोना मारा ने कहा कि राजा तोएरा की खोपड़ी केवल संग्रह का हिस्सा नहीं है, बल्कि यह अतीत और वर्तमान को जोड़ने वाला अदृश्य और अटूट लिंक है.
फ्रांस की संस्कृति मंत्री रशीदा दाती ने इसे फ्रांस और मेडागास्कर के बीच ऐतिहासिक घटना बताया था. फ्रांस ने 2017 में अफ्रीकी सांस्कृतिक धरोहर लौटाने की पहल शुरू की थी और 2018 की रिपोर्ट में सुझाव दिया कि उपनिवेशकाल में लूटी गई हजारों अफ्रीकी वस्तुएं वापस की जाएं. यह कदम अब दुनिया में सांस्कृतिक धरोहर की वापसी के लिए एक मिसाल बन रहा है.
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