<p>22 साल के अजय बरमन भारत में धुंधले पड़ रहे टिकटॉक स्टार हैं. वो धुंधले इसलिए नहीं पड़ रहे हैं कि उनका दौर ख़त्म हो रहा है, बल्कि उनका आरोप है कि हिंदू-मुस्लिम भाईचारे वाले वीडियो डालने के कारण उन्हें ‘शैडो बैन’ किया जा रहा है.</p><p>शैडो बैन करने का मतलब है कि कॉन्टेंट को इस तरह से चुपके से ब्लॉक कर दिया जाए कि वो प्लेटफ़ॉर्म के सभी यूज़र्स तक नहीं पहुंच सकें. कॉन्टेंट बनाने वाले को अचानक नहीं लगेगा कि उसके कॉन्टेंट को ढंग से प्रमोट नहीं किया जा रहा.</p><p>टिकटॉक राजनीतिक विषयों से शुरू से ही बचता रहा है. मगर बरमन ने हिंदू-मुस्लिम एकता पर 15 सेकंड का छोटे सा नाटक बनाकर 10 लाख से कुछ ही कम फॉलोअर्स बना लिए हैं. वह भी उस दौर में जब बहुत से लोगों को चिंता है कि भारत में दोनों समुदायों के बीच दूरियां बढ़ रही हैं. </p><p>बरमन का <a href="https://vm.tiktok.com/VYsJ1D/">एक वीडियो </a>बहुत सफल हुआ और उसे 25 लाख से अधिक व्यूज़ मिले. एक वीडियो में बरमन मुस्लिम शख़्स के वेश में हैं. उन्होंने सफ़ेद रंग की टोपी पहनी है और एक हिंदू उन्हें ले जा रहा है. बैकग्राउंड में सद्भाव भरा संगीत बज रहा है.</p><p>एक और लोकप्रिय स्किट में वो पाकिस्तान के एक मुस्लिम लेखक बने हैं जो भारत में एक किताब पर शोध करने आए हैं और दो हिंदू अजनबी उन्हें अपने यहां ठहराते हैं.</p><p>भारत के भोपाल शहर में रहने वाले इस हिंदू युवक ने हिंदू और मुसलमानों के बीच भाईचारे और शांति को बढ़ावा देने वाले वीडियो अपलोड करके इंसानियत वाले टिकटॉकर के तौर पर पहचान बनाई है.</p><p>मगर पिछले चार महीनों से, टिकटॉक इंडिया ने उनके अकाउंट की लोगों तक पहुंच यानी रीच कम कर दी है. </p><p>बरमन कहते हैं कि ‘रिस्क भरे’ कॉन्टेंट से दूरी बनाए रखने के लिए ऐसा किया गया है और अक्तूबर के आख़िर से लेकर अब तक उनके लगभग 25 हज़ार फॉलोअर्स भी कम हो गए हैं.</p><p>अपने होमपेज पर टिकटॉक अलग-अलग कॉन्टेंट बनाने वालों के वीडियो और हैशटैग सुझाता है. मगर बरमन का कहना है कि उनके वीडियो को ऐप के होमपेज पर सजेस्ट नहीं किया जाता.</p><p>बरमन कहते हैं, "मेरे वीडियो को औसतन 2 लाख व्यूज़ मिलते थे मगर अब ये 8000 तक पहुंच गए हैं. मेरा कोई भी वीडियो ‘फ़ॉर यू’ पेज पर नज़र नहीं आता."</p> <ul> <li><a href="https://www.bbc.com/hindi/science-49161370?xtor=AL-73-%5Bpartner%5D-%5Bprabhatkhabar.com%5D-%5Blink%5D-%5Bhindi%5D-%5Bbizdev%5D-%5Bisapi%5D">टिकटॉक वाली कंपनी जल्दी बनाएगी स्मार्टफोन</a></li> </ul> <ul> <li><a href="https://www.bbc.com/hindi/india-49063406?xtor=AL-73-%5Bpartner%5D-%5Bprabhatkhabar.com%5D-%5Blink%5D-%5Bhindi%5D-%5Bbizdev%5D-%5Bisapi%5D">टिकटॉक ऐप क्यों है सवालों के घेरे में </a></li> </ul><figure> <img alt="टिकटॉक" src="https://c.files.bbci.co.uk/5DF2/production/_110705042_gettyimages-1137804306.jpg" height="549" width="976" /> <footer>Getty Images</footer> <figcaption>भारत में टिकटॉक के 20 करोड़ यूज़र हैं</figcaption> </figure><p><strong>’CAA विरोधी प्रदर्शनों के बा</strong><strong>द</strong><strong> घटी रीच'</strong></p><p>बरमन कहते हैं कि उनके अकाउंट को पिछले साल उस समय से प्रमोशन मिलना कम हो गया था, जब नागरिकता संशोधन क़ानून के ख़िलाफ़ विरोध प्रदर्शन शुरू हुए थे. </p><p>जब से बरमन ने ख़ुद को शैडो बैन किए जाने का आरोप लगाया है, उसके बाद और लोग भी चिंता में हैं. उन्हें डर है कि कहीं अगला नंबर उनका न हो.</p><p>16 साल के मिर्ज़ा अतीक़ बेग़ कहते हैं, "मैं हिंदू-मुस्लिम भाईचारे की बात करने वाले बरमन के कई सारे वीडियोज़ से प्रेरित हुआ हूं."</p><p>मिर्ज़ा एक वीडियो से चर्चा में आए थे जिसे 48 लाख से अधिक लोगों ने देखा था. इसमें उन्होंने नागरिकता क़ानून को लेकर हुए प्रदर्शनों की पृष्ठभूमि में राजनेताओं को समुदायों के बीच खाई पैदा करने वाला दिखाया था.</p><p>वो कहते हैं कि शुरू में उन्हें वीडियो अपलोड करने में डर लगा. </p><p>उन्होंने कहा, "मैंने 15 मिनट तक विचार किया. वे (टिकटॉक) नहीं चाहते कि कोई पॉलिटिकल कॉन्टेंट ऐसा हो जिसका असर उन पर पड़ जाए."</p><figure> <img alt="टिकटॉक" src="https://c.files.bbci.co.uk/340D/production/_110752331_9e5e4256-8a50-43af-8438-450e748786e2.jpg" height="549" width="976" /> <footer>Getty Images</footer> </figure><h1>टिकटॉक पर उठते सवाल</h1><p>टिकटॉक इंडिया का कहना है कि वह तब तक किसी तरह के राजनीतिक कॉन्टेंट को नहीं रोकता जब तक कि यह उसके दिशानिर्देशों का उल्लंघन न करे.</p><p>ऐप पॉर्नोग्राफ़ी, भड़काऊ बातें करने वाले अकाउंटों को बैन करता है मगर जिस कॉन्टेंट को वह अपने दिशानिर्देशों का उल्लंघन करता पाता है, उसकी पहुंच को सीमित कर देता है. </p><p>इस तरह से कॉन्टेंट को सीमित किया जाना या फिर शैडो बैनिंग से कॉन्टेंट बनाने वाले मुश्किल में हैं. उन्हें नहीं पता होता कि उनका कॉन्टेंट किसी दिशानिर्देश के लिए उल्लंघन के लिए बैन किया जा रहा है या फिर यह प्रमोट किए जाने लायक ही नहीं था.</p><p>मगर फिर, यूज़र्स उन सबूतों की ओर इशारा करते हैं जो बताते हैं कि ऐप राजनीतिक कारणों से लोगों को ब्लॉक या फिर शैडो बैन कर रहा है.</p><figure> <img alt="टिकटॉक" src="https://c.files.bbci.co.uk/D04D/production/_110752335_64f8a218-50ee-423f-ab4c-c82689202cff.jpg" height="549" width="976" /> <footer>Getty Images</footer> </figure><p>पिछले कुछ महीनों में चीन के बाइटडैंस के स्वामित्व वाले टिकटॉक पर तथाकथित ‘रिस्की’ कॉन्टेंट को सेंसर करने का आरोप लगा था.</p><p>हाल ही में अमरीका में एक टीनेजर का अकाउंट बैन करने को लेकर टिकटॉक की आलोचना हुई थी. इस लड़की ने एक वीडियो अपलोड किया था जिसमें उसने चीन पर मुसलमानों को ‘बंदी शिविरों’ में रखने का आरोप लगाया था. बाद में टिकटॉक ने <a href="https://www.bbc.com/news/technology-50582101?xtor=AL-73-%5Bpartner%5D-%5Bprabhatkhabar.com%5D-%5Blink%5D-%5Bhindi%5D-%5Bbizdev%5D-%5Bisapi%5D">खेद प्रकट </a>किया था और उसके अकाउंट को फिर से एक्टिव कर दिया था.</p><p>इस बीच, <a href="https://www.theguardian.com/technology/2019/sep/25/revealed-how-tiktok-censors-videos-that-do-not-please-beijing">द गार्डियन पर हाल ही में छपी रिपोर्ट </a>में पता चला था कि बाइटडैंस के पास ऐसी नीतियां हैं जिनके आधार पर उसने अमरीका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप से जुड़े कॉन्टेंट और चीन के समाजवादी सिस्टम की आलोचना वाले कॉन्टेंट को बैन कर दिया था.</p><p>तुर्की में कंपनी को ऐसे कॉन्टेंट को बैन करते हुए पाया गया था जिसमें एलजीबीटी समुदाय और सेम-सेक्स वाले रिश्तों को सकारात्मक दिखाया गया था. इसके बाद उसने अपनी नीतियों को बदला है.</p> <ul> <li><a href="https://www.bbc.com/hindi/vert-cap-48161943?xtor=AL-73-%5Bpartner%5D-%5Bprabhatkhabar.com%5D-%5Blink%5D-%5Bhindi%5D-%5Bbizdev%5D-%5Bisapi%5D">क्या टिकटॉक के सितारे कभी पैसे भी कमा पाएंगे?</a></li> </ul> <ul> <li><a href="https://www.bbc.com/hindi/india-48873631?xtor=AL-73-%5Bpartner%5D-%5Bprabhatkhabar.com%5D-%5Blink%5D-%5Bhindi%5D-%5Bbizdev%5D-%5Bisapi%5D">टिकटॉक की मदद से तीन साल बाद ग़ायब पति मिला</a></li> </ul><figure> <img alt="टिकटॉक" src="https://c.files.bbci.co.uk/822D/production/_110752333_e899e75d-e7e9-48c3-822b-ff29fe8f0eaf.jpg" height="549" width="976" /> <footer>Getty Images</footer> </figure><h3>क्या कहता है टिकटॉक</h3><p>हालांकि, टिकटॉक के पास भारत में सावधान रहने का कारण भी है. पुलिस ने अज्ञात लोकप्रिय टिकटॉक यूज़र्स के ख़िलाफ़ भड़काऊ वीडियो बनाने पर मामला दर्ज किया था. इस वीडियो में मॉब लिंचिंग के शिकार हुए शख़्स का बदला लेने की बात कही गई थी. </p><p>फिर पिछले साल कोर्ट ने अस्थायी तौर पर इस ऐप पर ‘पॉर्न को बढ़ावा देने के कारण’ प्रतिबंध लगा दिया था.</p><p>टिकटॉक ने बीबीसी को बताया कि उसने बरमन के अकाउंट को अस्थायी तौर पर सस्पेंड किया था क्योंकि वो अपने कई वीडियो में ड्रग्स से जुड़ी एक टी-शर्ट पहने हुए थे. </p><p>कंपनी ने कहा, "यह उल्लंघन नहीं था इसलिए हमने उनके वीडियो उसी हिसाब से फिर से वापस ला दिए हैं."</p><p>टिकटॉक के एक प्रवक्ता ने कहा, "हमारे दिशानिर्देश स्पष्ट हैं कि टिकटॉक पर राजनीतिक कॉन्टेंट डाला जा सकता है, बस इसमें कोई अतिवाद.. जैसे कि नफ़रत भरी या भड़काऊ बात नहीं होनी चाहिए. सभी यूज़र्स को उल्लंघन का दोषी पाए जाने के ख़िलाफ़ अपील करने का अधिकार भी है मगर इस मामले में यूज़र ने ऐसा नहीं किया था."</p><p>हालांकि, कंपनी ने बरमन के ‘शैडो बैन’ किए जाने वाले आरोप का जवाब नहीं दिया.</p><p>बरमन कहते हैं , "सेंसर किए जाने से अब तक मैंने हिंदू-मुस्लिम एकता वाले वीडियो प्राइवेट बनाए हैं. इस उम्मीद में कि टिकटॉक शैडो बैन वापस लेगा."</p><p>उन्होंने अपना पुराना अकाउंट बंद करके नया भी शुरू किया है और उसमें सिर्फ़ कॉमेडी कॉन्टेंट डाला है जो कि उनकी थीम से अलग है.</p><p>इस बीच, बरमन के प्रशंसकों ने एक ऑनलाइन कैंपन शुरू किया है ताकि उनके अकाउंट को फिर से पहले जैसी स्थिति में लाया जाए. वो "unfreeze" जैसे हैशटैग इस्तेमाल कर रहे हैं. इसे लेकर उन्होंने 700 से अधिक वीडियो बनाए हैं.</p><figure> <img alt="टिकटॉक" src="https://c.files.bbci.co.uk/AC12/production/_110705044_gettyimages-1159694883.jpg" height="549" width="976" /> <footer>Getty Images</footer> <figcaption>दिल्ली के एक पार्क में टिकटॉक वीडियो बनाते लड़के</figcaption> </figure><p>अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की वकालत करने वालों ने भी टिकटॉक पर कॉन्टेंट को ‘शैडो बैन करने की व्यवस्था’ पर सवाल उठाए हैं.</p><p>इंटरनेट फ़्रीडम फ़ाउंडेशन के एग्ज़िक्यूटिव डायरेक्टर अपार गुप्ता कहते हैं, "किस हद तक और कितनी तकनीक को वे बढ़ावा दे रहे हैं, इसे लेकर उन्हें पारदर्शी होना चाहिए. ऐप पर क्या बूस्ट करना है, किसे कम बढ़ावा देना है और यूज़र्स के एक्सपीरियंस में लाए जाने वाले बदलाव को लेकर भी पारदर्शिता बरती जानी चाहिए."</p><p>"उन्होंने एल्गॉरिदम के माध्यम से कॉन्टेंट को सेंसर किए जाने से पैदा होने वाली दिक्कतों का भी ज़िक्र किया. गुप्ता ने कहा कि टिकटॉक जैसे ऐप कई मामलों में अपने प्लेटफ़ॉर्म में ऐसे बदलाव करते हैं ताकि उनके व्यावसायिक हित अभिव्यक्ति से भी ऊपर रहें."</p><p>"हम ऐसे प्लेटफॉर्म को देख रहे हैं जिसमें चीन का समुदायवादी चरित्र है, जो कि किसी भी तरह की राजनीतिक टीका-टिप्पणी को लेकर कोई रिस्क नहीं उठाना चाहता. टिकटॉक को इस बात का आभास नहीं है कि जिन क्षेत्रों में यह काम करता है, वहां राजनीति हर बातचीत का हिस्सा है."</p><p><strong>(बीबीसी हिन्दी के एंड्रॉएड ऐप के लिए आप यहां </strong><a href="https://play.google.com/store/apps/details?id=uk.co.bbc.hindi">क्लिक</a><strong> कर सकते हैं. आप हमें </strong><a href="https://www.facebook.com/bbchindi">फ़ेसबुक</a><strong>, </strong><a href="https://twitter.com/BBCHindi">ट्विटर</a><strong>, </strong><a href="https://www.instagram.com/bbchindi/">इंस्टाग्राम</a><strong> और </strong><a href="https://www.youtube.com/bbchindi/">यूट्यूब</a><strong> पर फ़ॉलो भी कर सकते हैं.)</strong></p>
लेटेस्ट वीडियो
#TikTok हिंदू-मुस्लिम भाईचारे वाले वीडियो को सेंसर कर रहा है?
<p>22 साल के अजय बरमन भारत में धुंधले पड़ रहे टिकटॉक स्टार हैं. वो धुंधले इसलिए नहीं पड़ रहे हैं कि उनका दौर ख़त्म हो रहा है, बल्कि उनका आरोप है कि हिंदू-मुस्लिम भाईचारे वाले वीडियो डालने के कारण उन्हें ‘शैडो बैन’ किया जा रहा है.</p><p>शैडो बैन करने का मतलब है कि कॉन्टेंट को इस […]
Modified date:
Modified date:
Prabhat Khabar Digital Desk
यह प्रभात खबर का डिजिटल न्यूज डेस्क है। इसमें प्रभात खबर के डिजिटल टीम के साथियों की रूटीन खबरें प्रकाशित होती हैं।
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
